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कवयित्री मधुमिता शुक्ला की बहन के घर पर फायरिंग, अमरमणि त्रिपाठी पर लगाए गंभीर आरोप - कवयित्री मधुमिता शुक्ला की बहन निधि

कवयित्री मधुमिता शुक्ला की बहन निधि शुक्ला के घर पर कुछ लोगों ने फायरिंग की. मंगलवार को निधि शुक्ला पूर्व मंत्री अमरमणि त्रिपाठी पर उनके घर पर फायरिंग करवाने का आरोप लगाया.

Etv Bharat कवयित्री मधुमिता शुक्ला की बहन निधि के घर पर फायरिंग, अमरमणि त्रिपाठी पर लगाए गंभीर आरोप
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By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : Mar 12, 2024, 2:54 PM IST

Updated : Mar 12, 2024, 7:05 PM IST

लखीमपुर: कवयित्री मधुमिता शुक्ला की बहन निधि शुक्ला मंगलवार को फिर सुर्खियों में आ गयी. उन्‍होंने कहा कि मंगलवार तड़के सुबह उनके पर फायरिंग की गयी. उन्होंने कहा कि कि पूर्व मंत्री अमरमणि त्रिपाठी के इशारे पर बदमाशों ने उन पर जानलेवा हमला किया. अमनमणि के कांग्रेस में शामिल होने के विरोध में निधि शुक्ला ने मंगलवार को लखीमपुर में अनशन शुरू कर दिया.

निधि शुक्ला ने कहा कि मंगलवार तड़के सुबह कुछ बदमाशों ने उनके घर पर अंधाधुंध फायरिंग की. वहां पर कई पुलिस वाले मौजूद थे, इसलिए हमलावर घर में घुस नहीं सके. एसपी गणेश शाहा ने कहा कि निधि शुक्ला के आवास के पास बुलेट बरामद की गयी है. ASP और SDM मौके पर जांच के लिए गये थे. मामले की जांच पूरी गंभीरता से की जा रही है.

यूपी के पूर्व मंत्री अमरमणि त्रिपाठी कुछ दिन पहले ही अपनी पत्‍नी के साथ जेल से उम्रकैद की सजा काटने के बाद बाहर निकले हैं. उन्‍हें मधुमिता शुक्‍ला हत्‍याकांड में सजा सुनाई गयी थी. निधि शुक्‍ला ने ही इस केस की पैरवी की थी. निधि शुक्ला ने आरोप लगाया था कि जब से अमरमणि त्रिपाठी जेल से रिहा हुए हैं, तब से उन्‍हें धमकियां दी जा रही हैं. पुलिस को जांच के दौरान घर के पास कारतूस बरामद हुआ. निधि शुक्ला के घर की टाइल्‍स भी टूटी मिलीं.

कवयित्री मधुमिता शुक्‍ला की हत्या 9 मई 2003 को हुई थी. लखनऊ के पेपरमिल इलाके में मधुमिता शुक्ला की उनके घर में गोली मारकर हत्‍या कर दी गई थी. वो सात महीने की प्रेग्नेंट थीं. उनके और अमरमणि के बीच संबंध थे. इस हत्या की साजिश में अमरमणि त्रिपाठी की पत्‍नी मधु त्रिपाठी भी शामिल थीं. ये वारदात उस वक्त हुई, जब अमरमणि तत्‍कालीन बीएसपी सरकार में कैबिनेट मंत्री हुआ करते थे.

पहले यूपी पुलिस, फिर सीबीसीआईडी ने इस संगीन मामले को 20 दिन तक लटकाया. 20 दिनों बाद ये मामला सीबीआई के पास पहुंचा. तब अमरमणि और उनकी पत्‍नी को गिरफ्तार किया गया. इस केस के ट्रायल के दौरान गवाहों को धमकाने की शिकायतें मिलीं. सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद वर्ष 2005 में ये केस लखनऊ से उत्‍तराखंड ट्रांसफर कर दिया गया था.

ये भी पढ़ें- पुजारी, मंदिर प्रबंधक के लिए MBA जैसा कोर्स: संपूर्णानंद विश्वविद्यालय कराएगा टेंपल मैनेजमेंट में पढ़ाई, 10 से अधिक ऑनलाइन कोर्सेज

लखीमपुर: कवयित्री मधुमिता शुक्ला की बहन निधि शुक्ला मंगलवार को फिर सुर्खियों में आ गयी. उन्‍होंने कहा कि मंगलवार तड़के सुबह उनके पर फायरिंग की गयी. उन्होंने कहा कि कि पूर्व मंत्री अमरमणि त्रिपाठी के इशारे पर बदमाशों ने उन पर जानलेवा हमला किया. अमनमणि के कांग्रेस में शामिल होने के विरोध में निधि शुक्ला ने मंगलवार को लखीमपुर में अनशन शुरू कर दिया.

निधि शुक्ला ने कहा कि मंगलवार तड़के सुबह कुछ बदमाशों ने उनके घर पर अंधाधुंध फायरिंग की. वहां पर कई पुलिस वाले मौजूद थे, इसलिए हमलावर घर में घुस नहीं सके. एसपी गणेश शाहा ने कहा कि निधि शुक्ला के आवास के पास बुलेट बरामद की गयी है. ASP और SDM मौके पर जांच के लिए गये थे. मामले की जांच पूरी गंभीरता से की जा रही है.

यूपी के पूर्व मंत्री अमरमणि त्रिपाठी कुछ दिन पहले ही अपनी पत्‍नी के साथ जेल से उम्रकैद की सजा काटने के बाद बाहर निकले हैं. उन्‍हें मधुमिता शुक्‍ला हत्‍याकांड में सजा सुनाई गयी थी. निधि शुक्‍ला ने ही इस केस की पैरवी की थी. निधि शुक्ला ने आरोप लगाया था कि जब से अमरमणि त्रिपाठी जेल से रिहा हुए हैं, तब से उन्‍हें धमकियां दी जा रही हैं. पुलिस को जांच के दौरान घर के पास कारतूस बरामद हुआ. निधि शुक्ला के घर की टाइल्‍स भी टूटी मिलीं.

कवयित्री मधुमिता शुक्‍ला की हत्या 9 मई 2003 को हुई थी. लखनऊ के पेपरमिल इलाके में मधुमिता शुक्ला की उनके घर में गोली मारकर हत्‍या कर दी गई थी. वो सात महीने की प्रेग्नेंट थीं. उनके और अमरमणि के बीच संबंध थे. इस हत्या की साजिश में अमरमणि त्रिपाठी की पत्‍नी मधु त्रिपाठी भी शामिल थीं. ये वारदात उस वक्त हुई, जब अमरमणि तत्‍कालीन बीएसपी सरकार में कैबिनेट मंत्री हुआ करते थे.

पहले यूपी पुलिस, फिर सीबीसीआईडी ने इस संगीन मामले को 20 दिन तक लटकाया. 20 दिनों बाद ये मामला सीबीआई के पास पहुंचा. तब अमरमणि और उनकी पत्‍नी को गिरफ्तार किया गया. इस केस के ट्रायल के दौरान गवाहों को धमकाने की शिकायतें मिलीं. सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद वर्ष 2005 में ये केस लखनऊ से उत्‍तराखंड ट्रांसफर कर दिया गया था.

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Last Updated : Mar 12, 2024, 7:05 PM IST
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