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अप्रैल-जून में पड़ेगी झुलसाने वाली गर्मी, मध्य और पश्चिमी भाग पर सबसे बुरे प्रभाव की आशंकाः IMD - Extreme heat to scorch India

Extreme heat to scorch India, आईएमडी ने कहा है कि अप्रैल से जून के बीच अत्यधिक गर्मी पड़ेगी. साथ ही इसका मध्य एवं पश्चिमी प्रायद्वीपीय भागों पर बुरा प्रभाव पड़ सकता है. बता दें कि इसी दौरान देश में लोकसभा चुनाव के लिए मतदान होने हैं. पढ़िए पूरी खबर...

Scorching heat (Symbolic IANS)
झुलसाने वाली गर्मी (प्रतीकात्मक आईएएनएस)
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By PTI

Published : Apr 1, 2024, 7:39 PM IST

नई दिल्ली : देश में अप्रैल से जून तक की अवधि के दौरान अत्यधिक गर्मी पड़ेगी और इसका मध्य एवं पश्चिमी प्रायद्वीपीय भागों पर सबसे बुरा प्रभाव पड़ने का अनुमान है. भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD) ने सोमवार को यह जानकारी दी. मौसम विभाग का यह अनुमान ऐसे समय आया है जब देश सात चरणों में होने वाले आम चुनाव की तैयारी कर रहा है.

आईएमडी के महानिदेशक मृत्युंजय महापात्र ने कहा कि अप्रैल-जून की अवधि के दौरान देश के अधिकतर हिस्सों में अधिकतम तापमान सामान्य से अधिक रहने और मध्य तथा पश्चिमी प्रायद्वीपीय भारत में इसका सबसे बुरा असर पड़ने का अनुमान है. उन्होंने कहा कि पश्चिमी हिमालय क्षेत्र, पूर्वोत्तर राज्यों और उत्तरी ओडिशा के कुछ हिस्सों में अधिकतम तापमान के सामान्य या सामान्य से नीचे रहने की संभावना है.

महापात्र के अनुसार, इस अवधि के दौरान मैदानी इलाकों के ज्यादातर हिस्सों में सामान्य से अधिक गर्म हवा चलने की संभावना है. देश के विभिन्न हिस्सों में सामान्यतः चार से आठ दिनों की तुलना में दस से 20 दिन तक लू चलने का अनुमान है. आईएमडी के महानिदेशक ने कहा कि गुजरात, मध्य महाराष्ट्र, उत्तरी कर्नाटक, राजस्थान, मध्य प्रदेश, ओडिशा, उत्तरी छत्तीसगढ़ और आंध्र प्रदेश में गर्मी का सबसे बुरा असर पड़ सकता है.

महापात्र ने कहा कि अप्रैल में देश के ज्यादातर हिस्सों में अधिकतम तापमान सामान्य से अधिक रहने और मध्य दक्षिण भारत में इसकी ज्यादा संभावना है. महापात्र ने कहा कि अप्रैल में पश्चिमी हिमालय क्षेत्र और पूर्वोत्तर राज्यों के कुछ हिस्सों में अधिकतम तापमान सामान्य या सामान्य से नीचे रहने का अनुमान है.

मौसम विभाग के मुताबिक, अप्रैल में मध्य भारत के कई इलाकों और उत्तरी मैदानी इलाकों तथा दक्षिण भारत के आसपास के क्षेत्रों में सामान्य से अधिक लू वाले दिन रहने की संभावना है. इसने कहा कि मध्य भारत और उत्तरी मैदानी इलाकों तथा दक्षिण भारत में अप्रैल में सामान्य लू दिवसों के विपरीत अधिक दिन तक लू चलने का अनुमान है. महापात्र के अनुसार, इन क्षेत्रों में सामान्यतः एक से तीन दिनों की तुलना में दो से आठ दिन तक लू चलने की संभावना है.

उन्होंने कहा कि गुजरात, महाराष्ट्र, उत्तरी कर्नाटक, ओडिशा, पश्चिमी मध्य प्रदेश और आंध्र प्रदेश में अप्रैल में लू का सबसे बुरा असर होने का अनुमान है. आईएमडी ने यह भी कहा कि मध्य प्रदेश को छोड़कर गेहूं उत्पादक राज्यों में सात अप्रैल तक लू की कोई चेतावनी नहीं है. भारत में लोकसभा चुनाव 19 अप्रैल से एक जून के बीच सात चरणों में होगा.

ये भी पढ़ें - तेलंगाना: भीषण गर्मी में एक हैंडपंप के सहारे पूरा गांव, 40 फीट गहरे कुएं में उतरकर ला रहे पानी

नई दिल्ली : देश में अप्रैल से जून तक की अवधि के दौरान अत्यधिक गर्मी पड़ेगी और इसका मध्य एवं पश्चिमी प्रायद्वीपीय भागों पर सबसे बुरा प्रभाव पड़ने का अनुमान है. भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD) ने सोमवार को यह जानकारी दी. मौसम विभाग का यह अनुमान ऐसे समय आया है जब देश सात चरणों में होने वाले आम चुनाव की तैयारी कर रहा है.

आईएमडी के महानिदेशक मृत्युंजय महापात्र ने कहा कि अप्रैल-जून की अवधि के दौरान देश के अधिकतर हिस्सों में अधिकतम तापमान सामान्य से अधिक रहने और मध्य तथा पश्चिमी प्रायद्वीपीय भारत में इसका सबसे बुरा असर पड़ने का अनुमान है. उन्होंने कहा कि पश्चिमी हिमालय क्षेत्र, पूर्वोत्तर राज्यों और उत्तरी ओडिशा के कुछ हिस्सों में अधिकतम तापमान के सामान्य या सामान्य से नीचे रहने की संभावना है.

महापात्र के अनुसार, इस अवधि के दौरान मैदानी इलाकों के ज्यादातर हिस्सों में सामान्य से अधिक गर्म हवा चलने की संभावना है. देश के विभिन्न हिस्सों में सामान्यतः चार से आठ दिनों की तुलना में दस से 20 दिन तक लू चलने का अनुमान है. आईएमडी के महानिदेशक ने कहा कि गुजरात, मध्य महाराष्ट्र, उत्तरी कर्नाटक, राजस्थान, मध्य प्रदेश, ओडिशा, उत्तरी छत्तीसगढ़ और आंध्र प्रदेश में गर्मी का सबसे बुरा असर पड़ सकता है.

महापात्र ने कहा कि अप्रैल में देश के ज्यादातर हिस्सों में अधिकतम तापमान सामान्य से अधिक रहने और मध्य दक्षिण भारत में इसकी ज्यादा संभावना है. महापात्र ने कहा कि अप्रैल में पश्चिमी हिमालय क्षेत्र और पूर्वोत्तर राज्यों के कुछ हिस्सों में अधिकतम तापमान सामान्य या सामान्य से नीचे रहने का अनुमान है.

मौसम विभाग के मुताबिक, अप्रैल में मध्य भारत के कई इलाकों और उत्तरी मैदानी इलाकों तथा दक्षिण भारत के आसपास के क्षेत्रों में सामान्य से अधिक लू वाले दिन रहने की संभावना है. इसने कहा कि मध्य भारत और उत्तरी मैदानी इलाकों तथा दक्षिण भारत में अप्रैल में सामान्य लू दिवसों के विपरीत अधिक दिन तक लू चलने का अनुमान है. महापात्र के अनुसार, इन क्षेत्रों में सामान्यतः एक से तीन दिनों की तुलना में दो से आठ दिन तक लू चलने की संभावना है.

उन्होंने कहा कि गुजरात, महाराष्ट्र, उत्तरी कर्नाटक, ओडिशा, पश्चिमी मध्य प्रदेश और आंध्र प्रदेश में अप्रैल में लू का सबसे बुरा असर होने का अनुमान है. आईएमडी ने यह भी कहा कि मध्य प्रदेश को छोड़कर गेहूं उत्पादक राज्यों में सात अप्रैल तक लू की कोई चेतावनी नहीं है. भारत में लोकसभा चुनाव 19 अप्रैल से एक जून के बीच सात चरणों में होगा.

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