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कैंब्रिज शहर में बने राम मंदिर: पाकिस्तानी हिंदू छात्र की मांग को भारतीय छात्र संघ अध्यक्ष के नेतृत्व में मिली मंजूरी

कैंब्रिज शहर में राम मंदिर की मांग कैंब्रिज यूनिवर्सिटी के पाकिस्तानी हिंदू छात्र युगल किशोर (Pakistani Hindu Student Yugal Kishor) ने की. इस मांग को वहां के हजारों छात्रों का समर्थन मिल गया.

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By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : Jan 24, 2024, 7:45 PM IST

अंग्रेज विद्यार्थी के साथ वारीश प्रताप

गोरखपुर: क्यूएस वर्ल्ड रैंकिंग दो पर काबिज दुनिया के नामचीन शिक्षण संस्थान में से एक, कैंब्रिज विश्वविद्यालय में राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठान के शुभ दिन पर ही, वहां पढ़ रहे पाकिस्तानी हिन्दू छात्र युगल किशोर ने कैंब्रिज शहर में राम मंदिर की मांग जोरदार ढंग से उठाई. इसके लिए परिसर में विश्वविद्यालय के छात्र संघ अध्यक्ष, भारतीय मूल के निवासी वारीश प्रताप चतुर्वेदी को लेकर समर्थन की मांग करने उतरा, तो उसे हजारों छात्रों का समर्थन मिल गया.

इस पर कैंब्रिज छात्रसंघ ने मंगलवार देर रात इस पर मुहर लगा दी. विश्वविद्यालय में लगभग एक हजार हिन्दू विद्यार्थियों के होने बावजूद यूनिवर्सिटी टाउन और सभी इकत्तीसों कॉलेज में भी एक भी पूजा स्थल न होने से छात्र नाराज हैं. इंजीनियरिंग में पीएचडी कर रहे युगल किशोर ने छात्रसंघ अध्यक्ष, वारीश प्रताप के सहयोग से छात्रपरिषद के समक्ष प्रस्ताव पेश किया. विश्वविद्यालय में छात्रों के तीसरे सबसे बड़े पंथ आधारित समुदाय की समस्या का निदान प्रदान करने वाले, इस प्रस्ताव के अनुमोदक बने वारीश प्रताप ने 27 नवंबर 2023 को ध्यानाकर्षण-सह-चर्चा के साथ-साथ 22 जनवरी को चर्चा-सह-मतदान के दौरान भी इस प्रस्ताव की पैरवी की.

उन्होंने कहा कि कैंब्रिज में हिन्दू पूजा स्थल की नितांत आवश्यकता है. मांग को स्वीकार करते हुए राम मंदिर स्थापना का अभियान तेज किया जाएगा. ईटीवी भारत को कैंब्रिज से भेजे अपने संदेश में वारीश ने कहा कि यूनिवर्सिटी हिन्दू कल्चरल सोसाइटी के अध्यक्ष निखिल सहगल ने उनसे बताया कि शीतकालीन अवकाश के बाद पहले अधिवेशन में इस विषय पर चर्चा के बाद मतदान किया गया था. अपरिहार्य कारणों की वजह से परिमाण की घोषणा, सोमवार की जगह मंगलवार देर रात की जा सकी.

यह प्रस्ताव छात्र परिषद में 26-0 से पारित हुआ. इसने वर्तमान अकदमिक सत्र में पक्ष में सर्वाधिक वोट पाने का रिकार्ड भी अपने नाम किया. इसके साथ -साथ यह वर्तमान शैक्षणिक वर्ष में निर्विरोध पारित होने वाला पहला एवं एकमात्र प्रस्ताव भी बना. उन्होंने इस अवसर पर हर्ष व्यक्त करते हुए कहा कि आराधना के समुचित अवसर होने पर, हिन्दू विद्यार्थियों को भी आध्यात्मिक विकास में सम्बल मिलेगा. 24000 की छात्र जनसंख्या के मध्य अल्पसंख्यक होने के बावजूद प्रस्ताव को अल्पमत की आशंका के बीच, निर्विरोध पारित करा ले जाने के लिए उन्होंने वारीश प्रताप का धन्यवाद भी किया.

कैंब्रिज विश्वविद्यालय के छात्रसंघ अध्यक्ष वारीश प्रताप उत्तर प्रदेश के फर्रुखाबाद जिला निवासी पूर्व सैनिक शिव कुमार चतुर्वेदी के पुत्र हैं. इन्होंने अपने गांव जहानगंज स्थित सरस्वती शिशु मंदिर से प्राथमिक शिक्षा लेने के बाद नवोदय विद्यालय से बारहवीं तक की पढ़ाई की. इसके बाद उन्होंने यांत्रिकी अभियांत्रिकी में बीटेक करने के बाद गेट की परीक्षा में उत्कृष्ट प्रदर्शन के आधार पर चयनित हो भारत पेट्रोलियम में बतौर अधिकारी पांच वर्ष सेवा भी दी थीं. वर्तमान समय में वारीश प्रताप कैंब्रिज विश्वविद्यालय के ट्रस्टी बोर्ड सदस्य भी हैं. वहीं इस प्रस्ताव के पास होने के बाद कुछ अंग्रेज विद्यार्थी भी वारीश प्रताप के साथ जय श्रीराम और हर हर महादेव का उदघोष करते और खुशी मनाते दिखे.

ये भी पढ़ें- ज्ञानवापी केस: 30 साल बाद फिर से व्यास परिवार के अधीन हुआ तहखना, डीएम बने कस्टोडियन

अंग्रेज विद्यार्थी के साथ वारीश प्रताप

गोरखपुर: क्यूएस वर्ल्ड रैंकिंग दो पर काबिज दुनिया के नामचीन शिक्षण संस्थान में से एक, कैंब्रिज विश्वविद्यालय में राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठान के शुभ दिन पर ही, वहां पढ़ रहे पाकिस्तानी हिन्दू छात्र युगल किशोर ने कैंब्रिज शहर में राम मंदिर की मांग जोरदार ढंग से उठाई. इसके लिए परिसर में विश्वविद्यालय के छात्र संघ अध्यक्ष, भारतीय मूल के निवासी वारीश प्रताप चतुर्वेदी को लेकर समर्थन की मांग करने उतरा, तो उसे हजारों छात्रों का समर्थन मिल गया.

इस पर कैंब्रिज छात्रसंघ ने मंगलवार देर रात इस पर मुहर लगा दी. विश्वविद्यालय में लगभग एक हजार हिन्दू विद्यार्थियों के होने बावजूद यूनिवर्सिटी टाउन और सभी इकत्तीसों कॉलेज में भी एक भी पूजा स्थल न होने से छात्र नाराज हैं. इंजीनियरिंग में पीएचडी कर रहे युगल किशोर ने छात्रसंघ अध्यक्ष, वारीश प्रताप के सहयोग से छात्रपरिषद के समक्ष प्रस्ताव पेश किया. विश्वविद्यालय में छात्रों के तीसरे सबसे बड़े पंथ आधारित समुदाय की समस्या का निदान प्रदान करने वाले, इस प्रस्ताव के अनुमोदक बने वारीश प्रताप ने 27 नवंबर 2023 को ध्यानाकर्षण-सह-चर्चा के साथ-साथ 22 जनवरी को चर्चा-सह-मतदान के दौरान भी इस प्रस्ताव की पैरवी की.

उन्होंने कहा कि कैंब्रिज में हिन्दू पूजा स्थल की नितांत आवश्यकता है. मांग को स्वीकार करते हुए राम मंदिर स्थापना का अभियान तेज किया जाएगा. ईटीवी भारत को कैंब्रिज से भेजे अपने संदेश में वारीश ने कहा कि यूनिवर्सिटी हिन्दू कल्चरल सोसाइटी के अध्यक्ष निखिल सहगल ने उनसे बताया कि शीतकालीन अवकाश के बाद पहले अधिवेशन में इस विषय पर चर्चा के बाद मतदान किया गया था. अपरिहार्य कारणों की वजह से परिमाण की घोषणा, सोमवार की जगह मंगलवार देर रात की जा सकी.

यह प्रस्ताव छात्र परिषद में 26-0 से पारित हुआ. इसने वर्तमान अकदमिक सत्र में पक्ष में सर्वाधिक वोट पाने का रिकार्ड भी अपने नाम किया. इसके साथ -साथ यह वर्तमान शैक्षणिक वर्ष में निर्विरोध पारित होने वाला पहला एवं एकमात्र प्रस्ताव भी बना. उन्होंने इस अवसर पर हर्ष व्यक्त करते हुए कहा कि आराधना के समुचित अवसर होने पर, हिन्दू विद्यार्थियों को भी आध्यात्मिक विकास में सम्बल मिलेगा. 24000 की छात्र जनसंख्या के मध्य अल्पसंख्यक होने के बावजूद प्रस्ताव को अल्पमत की आशंका के बीच, निर्विरोध पारित करा ले जाने के लिए उन्होंने वारीश प्रताप का धन्यवाद भी किया.

कैंब्रिज विश्वविद्यालय के छात्रसंघ अध्यक्ष वारीश प्रताप उत्तर प्रदेश के फर्रुखाबाद जिला निवासी पूर्व सैनिक शिव कुमार चतुर्वेदी के पुत्र हैं. इन्होंने अपने गांव जहानगंज स्थित सरस्वती शिशु मंदिर से प्राथमिक शिक्षा लेने के बाद नवोदय विद्यालय से बारहवीं तक की पढ़ाई की. इसके बाद उन्होंने यांत्रिकी अभियांत्रिकी में बीटेक करने के बाद गेट की परीक्षा में उत्कृष्ट प्रदर्शन के आधार पर चयनित हो भारत पेट्रोलियम में बतौर अधिकारी पांच वर्ष सेवा भी दी थीं. वर्तमान समय में वारीश प्रताप कैंब्रिज विश्वविद्यालय के ट्रस्टी बोर्ड सदस्य भी हैं. वहीं इस प्रस्ताव के पास होने के बाद कुछ अंग्रेज विद्यार्थी भी वारीश प्रताप के साथ जय श्रीराम और हर हर महादेव का उदघोष करते और खुशी मनाते दिखे.

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