रायपुर: विष्णु देव साय सरकार ने लोकसभा चुनाव से पहले बड़ा मास्टर स्ट्रोक खेला है. साय सरकार ने ये बड़ा ऐलान किया है कि प्रदेश में जितने भी मीसा बंदी हैं उनको फिर से सम्मान निधि की राशि दी जाएगी. सीएम ने इस ऐलान के साथ ही बड़ी घोषणा भी की है. सीएम ने कहा है कि दूध का व्यापार करने वाले लोगों की मुश्किलों को देखते हुए प्रदेश में मिल्क रूट और चिलिंग प्लांट भी बनाया जाएगा. मिल्क रूट बनने और चिलिंग प्लांट के निर्माण से दूध व्याारियों की बड़ी मुश्किल आसान हो जाएगी.
मीसाबंदियों ने किया सीएम के फैसले का स्वागत: प्रदेश के मीसा बंदियों को फिर से सम्मान निधि दिए जाने का ऐलान होते ही मीसा बंदियों ने सरकार के फैसले की तारीफ की है. मीसाबंदियों ने कहा कि उनकी सम्मान निधि बंद कर दी गई थी. सम्मान निधि बंद होने के चलते उनको बड़ी दिक्कतों का सामना करना पड़ा. भूपेश सरकार को मीसाबंदियों का श्राप लगा और कांग्रेस की सरकार चली गई.
प्रदेश के मीसा बंदियों को राज्य सरकार फिर से सम्मान निधि देने का ऐलान करती है. मीसा बंदियों को राज्य सरकार की ओर से सम्मान निधि दिया जाएगा. राज्य सरकार ने ये भी फैसला किया है कि प्रदेश में मिल्क रूट और चिलिंग प्लांट भी बनाया जाएगा. इनके बनने से दूध का व्यापार करने वाले लोगों को सहूलियत होगी. - विष्णु देव साय, मुख्यमंत्री
करुद विधायक अजय चंद्राकर ने की थी मांग: विधानसभा में कुरुद से बीजेपी विधायक अजय चंद्राकर ने मिल्क रूट और चिलिंग प्लांट की समस्या को लेकर मांग उठाई थी. अजय चंद्राकर के सवाल का जवाब देते हुए सदन में सीएम साय ने इस बात का ऐलान किया कि जल्द ही मिल्क रूट और चिलिंग प्लांट का काम शुरु होगा. प्रदेश में बड़े पैमाने पर दूध का ग्रामीण और शहरी एरिया में उत्पादन होता है. दूध को उत्पादन को बढ़ाने और उसे स्टोर करने के लिए लंबे वक्त से मिल्क रूट और चिलिंग प्लांट की मांग की जा रही थी.