गुवाहाटी: असम प्रदेश कांग्रेस कमेटी (एपीसीसी) के अध्यक्ष भूपेन कुमार बोरा ने लोकसभा चुनाव से कुछ दिन पहले मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा के खिलाफ 10 करोड़ रुपये का मानहानि का मुकदमा दायर किया है. यह मुकदमा मुख्यमंत्री द्वारा बोरा के खिलाफ की गई कई टिप्पणियों के मद्देनजर आया है, बोरा के मुताबिक सीएम के द्वारा इस तरह की टिप्पणी आपत्तिजनक और संभावित रूप से उनकी प्रतिष्ठा और पार्टी की प्रतिष्ठा के लिए हानिकारक है.
दरअसल, पिछले दिनों सीएम सरमा ने भूपेन बोरा के खिलाफ बयान दिया था कि बोरा 2025 तक भाजपा में शामिल हो जाएंगे. जिसके बाद बोरा ने कांग्रेस पार्टी छोड़कर भारतीय जनता पार्टी में शामिल होने के सीएम के दावों का खंडन किया था, उस वक्त बोरा ने सीएम सरमा को कड़ी चेतावनी दी थी. बता दें, सीएम के खिलाफ मानहानि का मुकदमा आधिकारिक तौर पर अदालत में दर्ज किया गया है.
31 मार्च को एक मीडिया बातचीत में असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने आगामी आम चुनावों में भाजपा और उसके सहयोगियों की भारी जीत को लेकर आशा जताई थी. साथ ही मुख्यमंत्री ने कहा था कि मुझे पता है कि भूपेन बोरा भी (भाजपा) में शामिल होंगे, भले ही समय लगे. विधानसभा चुनाव से पहले उनका शामिल होना निश्चित है.'
गौरतलब है कि लोकसभा चुनाव से पहले कई कांग्रेसी बीजेपी में शामिल हुए हैं. इस बीच, जब मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने असम प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष भूपेन बोरा के भाजपा में शामिल होने की बात कही, तब यह मामला सुर्खियों में आ गया और भूपेन बोरा को अपने खिलाफ सीएम के द्वारा कही गई यह बात रास नहीं आई.
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