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'यह बिल लाकर आप देश को...', लोकसभा में वक्फ (संशोधन) विधेयक पर बोले ओवैसी - Waqf Amendment Bill 2024 - WAQF AMENDMENT BILL 2024

Asaduddin Owaisi: केंद्र सरकार ने आज लोकसभा में वक्फ (संशोधन) विधेयक पेश किया.AIMIM प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने इसका विरोध किया और इसे भेदभावपूर्ण और मनमाना करार दिया.

लोकसभा में बोलते असदुद्दीन ओवैसी
लोकसभा में बोलते असदुद्दीन ओवैसी (Sansad TV)
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By ETV Bharat Hindi Team

Published : Aug 8, 2024, 2:07 PM IST

नई दिल्ली: केंद्र सरकार ने आज लोकसभा में वक्फ (संशोधन) विधेयक पेश किया, जिसका इंडिया ब्लॉक के कई सांसदों ने विरोध किया. विधेयक में 1995 के कानून में महत्वपूर्ण बदलाव प्रस्तावित किए गए हैं, जैसे कि वक्फ बोर्ड में मुस्लिम महिलाओं को शामिल करना और बोर्ड द्वारा वक्फ संपत्ति घोषित करने से पहले भूमि का वेरिफिकेशन सुनिश्चित करना.

ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड (AIMPLB) ने इस कदम को 'अस्वीकार्य' करार दिया. वहीं, ऑल इंडिया मजलिस इत्तेहादुल मुस्लिमीन (AIMIM) प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने भी बिल का विरोध किया है. उन्होंने इसे भेदभावपूर्ण और मुस्लिम विरोध बताया.

आप मुसलमानों के दुश्मन हैं- ओवैसी
ओवैसी ने कहा, "यह विधेयक संविधान के अनुच्छेद 14, 15 और 25 के सिद्धांतों का उल्लंघन करता है. यह विधेयक भेदभावपूर्ण और मनमाना दोनों है... इस विधेयक को लाकर आप (केंद्र सरकार) देश को जोड़ने का नहीं, बल्कि बांटने का काम कर रहे हैं. यह विधेयक इस बात का सबूत है कि आप मुसलमानों के दुश्मन हैं."

ओवैसी न कहा कि वक्फ की संपत्ति पब्लिक प्रॉपर्टी नहीं होती है. वक्फ बोर्ड को हटाकर आप यह सरकार दरगाह, मस्जिद और वक्प संपत्ति पर कब्जा करना चाहती है. सरकार कह रही है कि हम वक्फ बोर्ड में महिलाओं को शामिल करेंगे. मुझे यकीन है आप बोर्ड में बिलकिस बानो और जकिया जाफरी को शामिल करेंगे.

एनके प्रेमचंद्रन ने क्या कहा?
इससे पहले बिल को लेकर आरएसपी सांसद एनके प्रेमचंद्रन ने लोकसभा में कहा, "आप वक्फ बोर्ड और वक्फ परिषद को पूरी तरह से शक्तिहीन कर रहे हैं. आप व्यवस्था को खत्म कर रहे हैं. यह संविधान के सिद्धांतों के खिलाफ है. मैं सरकार को आगाह करता हूं कि अगर इस कानून को न्यायिक जांच के जरिए रखा गया तो यह निश्चित रूप से रद्द हो जाएगा."

वहीं, एनसीपी सांसद सुप्रिया सुले ने इस बिल को स्थाई समिति के पास भेजने की अपील की. उन्होंने कहा, "मैं सरकार से अनुरोध करती हूं कि या तो इस विधेयक को पूरी तरह से वापस ले या इसे स्थाई समिति को भेजें... कृपया बिना परामर्श के एजेंडा आगे न बढ़ाएं."

यह भी पढ़ें- क्या भारत में भी बांग्लादेश जैसे हो सकते हैं हालात ? सलमान खुर्शीद के दावे में कितना दम ? जानें

नई दिल्ली: केंद्र सरकार ने आज लोकसभा में वक्फ (संशोधन) विधेयक पेश किया, जिसका इंडिया ब्लॉक के कई सांसदों ने विरोध किया. विधेयक में 1995 के कानून में महत्वपूर्ण बदलाव प्रस्तावित किए गए हैं, जैसे कि वक्फ बोर्ड में मुस्लिम महिलाओं को शामिल करना और बोर्ड द्वारा वक्फ संपत्ति घोषित करने से पहले भूमि का वेरिफिकेशन सुनिश्चित करना.

ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड (AIMPLB) ने इस कदम को 'अस्वीकार्य' करार दिया. वहीं, ऑल इंडिया मजलिस इत्तेहादुल मुस्लिमीन (AIMIM) प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने भी बिल का विरोध किया है. उन्होंने इसे भेदभावपूर्ण और मुस्लिम विरोध बताया.

आप मुसलमानों के दुश्मन हैं- ओवैसी
ओवैसी ने कहा, "यह विधेयक संविधान के अनुच्छेद 14, 15 और 25 के सिद्धांतों का उल्लंघन करता है. यह विधेयक भेदभावपूर्ण और मनमाना दोनों है... इस विधेयक को लाकर आप (केंद्र सरकार) देश को जोड़ने का नहीं, बल्कि बांटने का काम कर रहे हैं. यह विधेयक इस बात का सबूत है कि आप मुसलमानों के दुश्मन हैं."

ओवैसी न कहा कि वक्फ की संपत्ति पब्लिक प्रॉपर्टी नहीं होती है. वक्फ बोर्ड को हटाकर आप यह सरकार दरगाह, मस्जिद और वक्प संपत्ति पर कब्जा करना चाहती है. सरकार कह रही है कि हम वक्फ बोर्ड में महिलाओं को शामिल करेंगे. मुझे यकीन है आप बोर्ड में बिलकिस बानो और जकिया जाफरी को शामिल करेंगे.

एनके प्रेमचंद्रन ने क्या कहा?
इससे पहले बिल को लेकर आरएसपी सांसद एनके प्रेमचंद्रन ने लोकसभा में कहा, "आप वक्फ बोर्ड और वक्फ परिषद को पूरी तरह से शक्तिहीन कर रहे हैं. आप व्यवस्था को खत्म कर रहे हैं. यह संविधान के सिद्धांतों के खिलाफ है. मैं सरकार को आगाह करता हूं कि अगर इस कानून को न्यायिक जांच के जरिए रखा गया तो यह निश्चित रूप से रद्द हो जाएगा."

वहीं, एनसीपी सांसद सुप्रिया सुले ने इस बिल को स्थाई समिति के पास भेजने की अपील की. उन्होंने कहा, "मैं सरकार से अनुरोध करती हूं कि या तो इस विधेयक को पूरी तरह से वापस ले या इसे स्थाई समिति को भेजें... कृपया बिना परामर्श के एजेंडा आगे न बढ़ाएं."

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