कोटा.जिले के रामगंजमंडी शहर के माधोपुर कॉलोनी में रविवार देर रात दो चचेरे भाइयों की हत्या का मामला सामने आया है. बाइक से एक्सीडेंट होने के बाद युवकों पर धारदार हथियारों से हमला किया (Youth attacked in Kota) गया. जिसमें दोनों की मौत हो गई. घटना के समय बीच-बचाव करने आए युवक पर भी हमला किया गया. इससे वह भी गंभीर रूप से घायल हो गया.
घटना में मृतक रामगंज मंडी इलाके के कुदायल गांव निवासी दुर्गेश और बंटी हैं. घायल का नाम त्रिलोक मीणा है. मृतकों के शव को पुलिस ने कब्जे में लेकर मोर्चरी में रखवा दिया है. घटना को अंजाम देने वाले युवकों की संख्या करीब 4 से 5 बताई जा रही है. एफएसएल टीम को भी मौके पर बुलाया गया. हालांकि युवकों पर हमले से रामगंजमंडी के ग्रामीण आक्रोशित हो गए और उन्होंने सुकेत मार्ग को जाम कर दिया. बड़ी संख्या में लोग हाईवे पर आकर बैठ गए. धरने पर बैठे लोगों ने हमलावरों को गिरफ्तार करने और इस तरह की घटनाओं पर रोक लगाने की मांग की गई.
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जानकारी के अनुसार रामगंजमंडी में निजी मेडिकल स्टोर पर काम करने वाले युवक अपने दुकान मालिक की मोटरसाइकिल को उसके घर पर खड़ी कर वापस आ रहे थे. ऐसे में जाते समय उनकी अन्य युवकों की गाड़ी से टक्कर हो गई. जब वे वापस लौटे तो उन पर कुछ युवकों ने धारदार हथियारों से हमला कर दिया. हमले में दोनों की मौत हो गई.
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कोटा ग्रामीण एसपी कावेंद्र सिंह सागर का कहना है कि जिन लोगों ने हमला किया है. उनकी पहचान की जा रही है. रोड एक्सीडेंट के बाद में युवकों पर हमला किया गया. जिन लोगों ने रास्ता जाम किया है, उनसे भी समझाइश की जा रही है.
घटना के घंटों बाद तक भी नहीं दी रिपोर्ट : रामगंजमंडी के पुलिस उप अधीक्षक सौरभ तिवारी का कहना है कि कांस्टेबल और हेड कांस्टेबल की संलिप्तता जांच का विषय है. दोनों अस्पताल चौकी में तैनात हैं. ऐसे में जो वहां कोई घायल आएगा, तो उसके पट्टी कराएंगे. उस समय लोग आक्रोशित थे तो उन्हें बचाना भी उनकी जिम्मेदारी थी. इस प्रकरण में अभी तक परिजनों ने कोई रिपोर्ट नहीं दी है. इसके चलते पोस्टमार्टम और आगे की प्रक्रिया नहीं हो पा रही है. उन्होंने हमलावरों के बारे में भी जानकारी नहीं दी. ग्रामीणों ने जिस तरह की मांग रखी है, उसको लेकर उनसे बातचीत लगातार जारी है.
ग्रामीणों ने सरकारी नौकरी और लाखों का मुआवजा मांगा : मृतक दुर्गेश और बंटी चचेरे भाई थे. ग्रामीणों ने मांग उठाई है कि मृतक बंटी और दुर्गेश के परिजनों को 10-10 लाख रुपए का मुआवजा दिया जाए. इसके साथ ही घायल त्रिलोक मीणा को 5 लाख रुपए की आर्थिक सहायता दी जाए. मृतक बंटी मीणा का विवाह कुछ समय पहले ही हुआ था और उसकी एक बेटी भी है. जिसके लालन-पालन के लिए उसकी पत्नी को सरकारी नौकरी दी जाए.
इस मामले में ग्रामीणों ने पुलिसकर्मियों पर भी आरोप लगाए हैं. जिसके तहत दो पुलिसकर्मियों के खिलाफ विभागीय कार्रवाई करते हुए उन्हें निलंबित करने की मांग की गई है. पूरे प्रकरण को केस ऑफिसर स्कीम के तहत लेते हुए आरोपियों को जल्द सजा दिलाई जाए. इस मामले में रास्ता जाम करने वाले ग्रामीणों पर भी मुकदमा दर्ज नहीं किया जाए.
दिलावर ने अवैध शराब से जोड़ा पूरा मामला, अधिकारियों पर लगाए गंभीर आरोप : ग्रामीणों ने देर रात ही रामगंजमंडी से सुकेत जाने वाले मार्ग को जाम कर दिया था. यह बीते 14 घंटे से जाम ही है. ट्रैफिक के यहां से नहीं निकल पा रहा है. बड़ी संख्या में ग्रामीण सड़क पर ही बैठे हुए हैं, जिन्हें मान मनोबल के लिए पुलिस और प्रशासन के आला अधिकारी भी कोशिश कर रहे हैं, लेकिन जाम खुलवाने में नाकामयाब रहे हैं.
दूसरी तरफ विधायक मदन दिलावर ने इस पूरे प्रकरण को अवैध शराब से जुड़ा है. उनका कहना है कि हमला करने वाले लोग अवैध शराब बेचते थे और इसी के चलते उन्होंने इन लोगों पर हमला किया है. दिलावर ने बयान जारी करते हुए कहा है कि रामगंजमंडी इलाके में अधिकारी ही शराब अवैध रूप से लिखवा रहे हैं. यहां तक कि उन्होंने अधिकारियों को आला अपराध की संज्ञा भी दी है. साथ ही उन्होंने मृतकों को 25-25 लाख रुपए का मुआवजा दिलाने की मांग की है. यूडीएच मंत्री शांति धारीवाल पर भी गंभीर आरोप उन्होंने लगा दिए है.