झुंझुनू. जिला कलेक्टर उमर दीन खान ने शुक्रवार को वीसी के जरिए समीक्षा बैठक लेते हुए सरकारी योजनाओं से लोगों को ज्यादा लाभांवित करने के लिए सभी अधिकारियों को सामंजस्य के साथ कार्य करने के निर्देश दिए हैं.
कलेक्टर ने कहा कि गरीब एवं जरूरतमंद तबके के पात्र लोगों को सरकारी योजनाओं को अधिक से अधिक लाभ दिलवाना हमारी जिम्मेदारी है. इसके लिए ग्रामीण, ब्लॉक एवं जिला स्तर के सभी अधिकारियों को आपसी सामंजस्य के साथ कार्य करना होगा. किसी भी योजना या अभियान की क्रियांविति को एक दूसरे विभाग पर थोपना गलत है. गुड गर्वनेंस की सार्थकता तभी सिद्ध होगी, जब हम प्रभावी कार्य योजना के साथ कार्य करेंगे.
उन्होंने धर्मगुरूओं से कहा कि वे कोरोना वैक्सीनेशन के लिए लोगों को जागरुक करने का कार्य करें. उन्होंने कहा कि वे स्वयं वैक्सीनेशन के लिए आगे आएं और लोगों को इसके लिए प्रेरित करें. जिला कलेक्टर ने कहा कि टीबी गंभीर बीमारी है, इसके उपाय आवश्यक हैं. सरकार की ओर से हर स्तर पर इसके लिए व्यापक व्यवस्था की गई है. जांच से लेकर उपचार तक तो नि:शुल्क है. साथ ही इस रोग से ग्रसित मरीज को प्रति माह 500 रूपये की आर्थिक सहायता भी दी जाती है.
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उन्होंने प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना के पेंडिंग 3863 प्रकरणों का भी जल्द से जल्द निस्तारण करने के निर्देश दिए. विभिन्न योजनाओं की हुई समीक्षा बैठक में कोरोना वायरस के संक्रमण की रोकथाम के लिए जन जागरूकता अभियान, कोरोना वैक्सीनेशन में सहयोग को लेकर चर्चा की गई. कलेक्टर ने वैक्सीनेशन के लिए भावी रणनीति, विकलांग प्रमाण पत्र जारी करने के लिए आयोजित शिविरों, हैल्थ वैलनेस सेंटर, प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना, जल जीवन मिशन की भी समीक्षा की.
पांच दिवसीय कृषक प्रशिक्षण संपन्न
कृषि विज्ञान केंद्र आबूसर पर आत्मा परियोजना सीकर के सौजन्य से पांच दिवसीय कृषक प्रशिक्षण का समापन हुआ. इस प्रशिक्षण समापन कार्यक्रम के मुख्य अतिथि आत्मा कृषि विभाग सीकर के परियोजना निदेशक डॉ. एसएन गढवाल थे. डॉ. गढ़वाल ने यहां किसानों के साथ केन्द्र फार्म पर बीज उत्पादन कार्यक्रम का भी जायजा लिया. कृषि विज्ञान केंद्र के वरिष्ठ वैज्ञानिक एंव अध्यक्ष डॉ. दयानन्द ने बताया की यह प्रशिक्षण उन्नत कृषि गतिविधियों से कृषक आय में बढोतरी विषय पर आयोजित किया गया. इस प्रशिक्षण में सीकर जिले के 30 किसानों ने भाग लिया. इस पांच दिवसीय प्रशिक्षण में किसानों को विभिन्न कृषि विशेषज्ञों की ओर से कृषि को उन्नत तकनीकों से अवगत करवाया गया. प्रशिक्षण के दौरान किसानों को कृषि बागवानी और पशुपालन की उपयोगिता बताई गई.