जयपुर. राजस्थान पुलिस के मुखिया डीजीपी उमेश मिश्रा ने बुधवार को एक बड़ा आदेश जारी करते हुए प्रदेश में गुमशुदा बच्चों को दस्तयाब करने वाले कांस्टेबल से लेकर सहायक उप निरीक्षक स्तर के पुलिसकर्मियों को प्रोत्साहन स्वरूप विशेष पदोन्नति देने की घोषणा की है. पात्र पुलिसकर्मियों को पदोन्नति संवर्ग पाठ्यक्रम के लिए मनोनयन कर विशेष पदोन्नति दी जाएगी.
डीजीपी उमेश मिश्रा ने बताया कि आदेश के अनुसार एक वर्ष की अवधि में 14 वर्ष से कम आयु के 25 गुमशुदा बच्चों और 18 साल से कम आयु के 60 बच्चों को बरामद करने वाले कांस्टेबल, हैड कांस्टेबल व सहायक उप निरीक्षक स्तर के पुलिस अधिकारी विशेष पदोन्नति के पात्र होंगे. इन्हें निर्धारित कोटे की रिक्तियों की उपलब्धता के आधार पर विशेष पदोन्नति दी जाएगी.
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यह रहेगी पदोन्नति की शर्त: डीजीपी उमेश मिश्रा ने बताया कि गुमशुदा बच्चों की दस्तयाबी पर उन्हीं पुलिसकर्मियों को विशेष पदोन्नति दी जाएगी. जिन्हें पिछले 3 वर्षों के दौरान विभाग की ओर से कोई बड़ी सजा और पिछले 1 वर्ष के दौरान लघु सजा का दंड ना मिला हो. साथ ही गत 3 वर्षों के दौरान वार्षिक कार्य मूल्यांकन प्रतिवेदन में प्रतिकूल टिप्पणी ना हो तथा कार्मिक के विरुद्ध विभागीय जांच, प्राथमिक जांच, आपराधिक प्रकरण अथवा सतर्कता जांच की शिकायत लंबित ना हो. पदोन्नति केवल उन्हीं पुलिसकर्मियों को मिलेगी जिनकी सूचना पर गुमशुदा बच्चा बरामद किया गया हो. बच्चे की बरामदगी में टीम में शामिल पुलिसकर्मी को अन्य उपयुक्त पुरस्कार दिया जाएगा.
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20 बच्चे दस्तयाब करने पर मिलेगा डीजीपी प्रशस्ति रोल: डीजीपी उमेश मिश्रा ने बताया कि 1 वर्ष की अवधि के दौरान 14 वर्ष से कम आयु के 10 बच्चों सहित 18 वर्ष से कम आयु के 20 बच्चे बरामद करने वाले कांस्टेबल से लेकर एएसआई स्तर के पुलिसकर्मियों को प्रोत्साहित करने के लिए महानिदेशक पुलिस प्रशस्ति रोल प्रदान किया जाएगा.