इंदौर। कोरोना की दूसरी लहर(Corona Second Wave) के चलते ट्रेनों में यात्रियों की संख्या बेहद कम है, ऐसे में पश्चिम रेलवे की कई ट्रेनों को रद्द कर दिया गया है. इंदौर से देश के विभिन्न क्षेत्रों में जाने के लिए ट्रेनों का संचालन किया जाता है. बड़ी संख्या में यात्री इंदौर स्टेशन से यात्रा करते हैं. वहीं वर्तमान में रेल यात्रा पर कोरोना महामारी का खासा असर देखने को मिल रहा है. लंबे समय से कई ट्रेनें कम यात्री संख्या के संचालित ट्रेनों को रेलवे बीते दिनों रद्द भी किया गया.
लंबी दूरी की ट्रेनों पर पड़ा अधिक प्रभाव
इंदौर रेलवे स्टेशन से बीते दिनों करीब 36 ट्रेनों का संचालन किया जा रहा था. यह ट्रेनों का संचालन विशेष ट्रेनों के रूप में किया जा रहा था. मुख्य तौर पर इंदौर से लंबी दूरी वाली ट्रेनों पर कोरोना की दूसरी लहर (Corona Second Wave) का खासा प्रभाव देखने को मिला रहा है. इन ट्रेनों में काफी कम संख्या में यात्री यात्रा कर रहे थे, यात्रियों की संख्या की कमी के चलते रेलवे प्रबंधन द्वारा लंबी दूरी की कई ट्रेनों को रद्द किया गया है, इंदौर से अब तक करीब 18 से अधिक ट्रेनों को रद्द किया जा चुका है.
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गुजरात , राजस्थान और दक्षिण भारत की ट्रेनों पर पड़ा अधिक प्रभाव
इंदौर से चलने वाली ट्रेनों में मुख्य तौर पर गुजरात राजस्थान और दक्षिण भारत की ट्रेनों में यात्रियों की संख्या काफी कम थी. यात्रियों की संख्या में कमी के चलते रेलवे द्वारा अधिकांश ट्रेनों को रद्द किया गया है. रेलवे जनसंपर्क अधिकारी जितेंद्र कुमार जयंत के अनुसार कोरोना की दूसरी लहर के पहले इंदौर से 36 ट्रेनों का संचालन किया जा रहा था. जिनमें लंबी दूरी की ट्रेनें शामिल थी. मुख्य तौर पर यात्रियों की संख्या के चलते गुजरात राजस्थान और दक्षिण भारत की ट्रेनों को रद्द किया गया है. आने वाले दिनों में यात्रियों की संख्या बढ़ती है .तो एक बार फिर इन ट्रेनों का संचालन रेलवे द्वारा शुरू किया जा सकता है.
लॉकडाउन के चलते यात्रियों की संख्या में आई कमी
कोरोना महामारी के चलते प्रदेश में लगे लॉकडाउन के कारण यात्रियों की संख्या में काफी कमी आई है. वर्तमान में अनलॉक की प्रक्रिया के दौरान कुछ लोग परिवहन को छूट दी गई है. जबकि पूर्व में लोक परिवहन सेवाएं बंद की गई थी. लेकिन फिर भी रेलवे यात्रा की लिस्ट जारी होने के दौरान भी यात्रियों की संख्या काफी कम थी. आने वाले दिनों में यात्रियों की संख्या बढ़ने पर रद्द की गई ट्रेनों को रेलवे फिर से शुरू करने पर विचार किया जा सकता है.