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'पुष्प क्रांति योजना' बनी दीनानाथ के लिए कुबेर का खजाना, MBA बेटे के साथ मिलकर सलाना कमा रहे लाखों रुपये - जरबेरा के पौधे

जिला ऊना के त्यार निवासी दीनानाथ प्रदेश सरकार की पुष्प योजना का लाभ उठाकर सालाना लाखों रुपये की आमदनी कमा रहे हैं. फूलों की खेती कर दीनानाथ (69) ने बेरोजगार युवाओं के लिए मिसाल पेश की है.

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Published : Oct 18, 2019, 6:09 PM IST

Updated : Oct 18, 2019, 7:30 PM IST

ऊना: जिला ऊना के त्यार निवासी दीनानाथ प्रदेश सरकार की पुष्प योजना का लाभ उठाकर सालाना लाखों रुपये की आमदनी कमा रहे हैं. फूलों की खेती कर दीनानाथ (69) ने बेरोजगार युवाओं के लिए मिसाल पेश की है. फूलों के व्यापार से पिता की अच्छी कमाई होते देख दीनानाथ का एमबीए होल्डर बेटा भी फूलों की खेती में अपनी दिलचस्पी दिखा रहा है.

वहीं, प्रदेश सरकार किसानों की आमदनी में बढ़ोतरी के लिए हर संभव सहायता प्रदान कर रही है. पुष्प क्रांति योजना के तहत प्रदेश सरकार द्वारा उच्च तकनीक वाले पॉलीहाउस स्थापित करने में वित्तीय सहायता दी जा रही है. वहीं विभाग द्वारा पॉलीहाउस लगाने में रुचि रखने वाले किसानों को समय-समय पर प्रशिक्षण सुविधा के साथ-साथ हर संभव मदद मुहैया करवाई जा रही है.

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प्रदेश सरकार द्वारा संचालित पुष्प क्रांति योजना के तहत दीनानाथ ने साल 2017 में 1 हजार वर्ग मीटर में करीब 6 हजार जरबेरा के पौधे लगाकर फूलों की खेतीबाड़ी का काम शुरू किया. फूलों की खेती से उन्हें सालाना करीब 2.50 लाख रुपये की आमदनी हो रही है. दीनानाथ ने फूलों के काम की शुरुआत एक पॉलीहाउस से की. इसके बाद अच्छी पैदावार होते देख दीनानाथ ने 1 हजार वर्ग मीटर का दूसरे पॉलीहाउस में भी फूलों का उत्पादन शुरू किया.

दीनानाथ की मानें तो जरबेरा फूलों की दिल्ली, चंडीगढ़ और हरियाणा की मंडियों में अच्छी खासी डिमांड है. इसे पूरा करने के लिए वे दिन रात मेहनत कर रहे हैं. इस व्यवसाय से उन्हें अच्छा खासा मुनाफा भी हो रहा है. फूलों की खेती से पिता की आमदनी देख, दीनानाथ का एमबीए डिग्री धारक बेटा भी फूलों की खेतीबाड़ी करने में अपनी दिलचस्पी दिखा रहा है. इसके चलते दीनानाथ ने दूसरे पॉलीहाउस को भी लगाया.

प्रदेश सरकार दे रही सब्सिडी

किसान दीनानाथ ने कहा कि पॉलीहाउस लगाने के लिए प्रदेश सरकार की ओर से 85 प्रतिशत सब्सिडी प्रदान की गई. साथ ही उद्यान विभाग की ओर से समय-समय पर तकनीकी सहायता भी उपलब्ध करवाई गई. विभाग के विशेषज्ञों ने दवाओं से लेकर खाद के प्रयोग के बारे में विस्तृत जानकारी दी. दीनानाथ ने कहा कि पॉलीहाउस तकनीक की मदद से फसलों की उत्पादकता और गुणवत्ता बढ़ जाती है. साथ ही तापमान को नियंत्रित कर और संरक्षित वातावरण में किसी भी स्थान पर साल भर खेती संभव है और इस तकनीक के माध्यम से बहुत कम क्षेत्र में फसल का बेहतर उत्पादन कर अच्छी कमाई की जा सकती है.

वहीं, उद्यान विभाग के उप-निदेशक डॉ. सुभाष चंद ने कहा कि ऊना में 50 हेक्टेयर भूमि में गुलाब, जरबेरा आदि फूलों की खेती की जा रही है. उन्होंने कहा कि सरकार की पुष्प क्रांति योजना में उच्च तकनीक वाले पॉलीहाउस लगाने के लिए वित्तीय सहायता उपलब्ध करवाई जा रही है. विभाग पॉलीहाउस लगाने वाले किसानों को प्रशिक्षण के साथ-साथ हर संभव मदद मुहैया करवा रहा है.

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Last Updated : Oct 18, 2019, 7:30 PM IST

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