शिमला: प्रदेश में नई शिक्षा नीति को लागू करने को लेकर तैयारियां शुरू कर दी गई हैं. शिक्षा विभाग में जहां नई शिक्षा नीति को लेकर बैठकों का दौर चल रहा है तो वहीं, मुख्यमंत्री से लेकर शिक्षा मंत्री तक नई शिक्षा नीति को लेकर बैठकें की जा रही हैं.
प्रदेश में नई शिक्षा नीति को सही तरीके से लागू किया जा सके इसके लिए टास्कफोर्स बनाने की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है. इस टास्क फोर्स को शिक्षा मंत्री गोविंद ठाकुर की अध्यक्षता में बनाया जा रहा है, जिसने 27 अन्य सदस्य शामिल किए जाएंगे.
शिक्षा मंत्री गोविंद ठाकुर (फाइल फोटो). वहीं, शिक्षा विभाग अपने स्तर पर रोजाना विभाग के अधिकारियों और कर्मचारियों के साथ नई शिक्षा नीति के प्रारूप को लेकर बैठ कर कर रहे हैं. इन बैठकों में नई शिक्षा नीति को लागू करने के लिए पूरा प्लान तैयार किया जा रहा है, ताकि नई शिक्षा नीति को सही तरीके से प्रदेश में जल्द से जल्द लागू किया जा सके.
इस नई शिक्षा नीति को लेकर प्रदेश में सुझाव भी शिक्षकों और बुद्धिजीवियों से लिए जा रहे हैं. केंद्र सरकार के आदेशों के तहत यह कार्य किया जा रहा है, जिसमें शिक्षकों और प्रधानाचार्य से इस नई एजुकेशन पॉलिसी को लेकर सुझाव लिए जा रहे हैं. ऑनलाइन ही शिक्षक यह सुझाव दे रहे हैं. सुझाव को देने के लिए 31 अगस्त तक का समय तय किया गया है. इस समय अवधि तक जो भी सुझाव नई शिक्षा नीति को लेकर आएंगे उन्हें केंद्र सरकार को भेजा जाएगा.
शिक्षा मंत्री गोविंद ठाकुर (फाइल फोटो). प्रदेश के शिक्षा मंत्री गोविंद ठाकुर नई शिक्षा नीति को नए युग का सूत्रपात बता रहे हैं. उनका कहना है कि इस नई शिक्षा नीति के लागू होने के बाद शिक्षा में गुणवत्ता आएगी तो वहीं छात्रों के पास भी अनेक विकप्ल इस नई शिक्षा नीति के लागू होने के बाद पढ़ाई के लिए मिलेंगे.
उन्होंने कहा कि हिमाचल सरकार ने तय किया है कि प्रदेश में नई शिक्षा नीति को केंद्र के मॉडल के आधार पर ही अपनाया जाएगा. यही वजह भी है कि इसके लिए टास्क फोर्स का गठन किया जा रहा है. ये टास्क फोर्स प्रदेश में किस तरह से नई शिक्षा नीति को सही तरिके और समय के बीच में लागू किया जाए इसे लेकर कार्य करेगी.