शिमला:हिमाचल के विधायकों को मिलने वाली विकास निधि की आखिरी किस्त नहीं मिल पाई है. मुख्यमंत्री कार्यालय ने विधायकों को मिलने वाली विकास निधि का रुपया रोक दिया है. जानकारी के मुताबिक इसके चलते सुखविंदर सिंह सरकार बनते ही 68 विधानसभा इलाकों में विकास के कामों पर ब्रेक लग गया है. नई सड़कों से लेकर सामुदायिक भवनों का काम आगे नहीं बढ़ पा रहा है. इसको लेकर भाजपा अपनी नाराजगी जाहिर करने लगी है.
सुखविंदर सरकार को जारी करनी थी किस्त:जानकारी के मुताबिक तिमाही आधार पर मिलने वाली विकास निधि का पैसा कुल 4 किस्तों में विधायकों को मिलता है. वित्त वर्ष2022-23 की 3 किस्त पहले की जयराम सरकार दे चुकी थी. नई सरकार कांग्रेस की आने के बाद चौथी और आखिरी किस्त सुखविंदर सरकार को जारी करनी थी. 11 दिसंबर 2022 को नई सरकार का शपथ ग्रहण हुआ था और सीएम, डिप्टी सीएम ने पद और गोपनीयता की शपथ ली थी. साल 2023 का जनवरी का महीना बीत चुका है लेकिन मुख्यमंत्री कार्यालय की ओर से इस ओर अभी कोई कदम नहीं उठाया गया है. आज 7 फरवरी तक वित्तीय वर्ष 2022-23 में विधायकों की विकास निधि की आखिरी किस्त जारी नहीं हो पाई है.
31 मार्च तक खर्च करनी होती है राशि:दरअसल विधायकों को विकास निधि का पैसा वित्त वर्ष की समाप्ति यानी 31 मार्च तक खर्च करना होता है. लेकिन अभी आखिरी किस्त का इंतजार है, मुख्यमंत्री कार्यालय ने फाइल को योजना विभाग को नहीं भेजा है. योजना विभाग संबंधित जिलों के उपायुक्तों को यह राशि जारी करता है. योजना के तहत हर विधायक को इस वर्ष 2-2 करोड़ रुपए दिए जाने हैं, लेकिन समय पर नहीं मिलने के कारण अब यह राशि लैप्स हो सकती है. विधायकों को 50-50 लाख की अंतिम किस्त देना शेष है.