शिमला: हिमाचल प्रदेश में बढ़ते कोरोना वायरस के मामलों को देखते हुए सरकार की ओर से बाहरी राज्य से आने वालों के लिए क्वारंटाइन नियमों में बदलाव किए हैं. इन नियमों में बदलाव के दौरान राज्य में आने वाले सभी वर्गों का ध्यान रखा गया है. साथ ही काम के सिलसिले से आने वाले या इमरजेंसी के हालात के लिए भी अलग से दिशा निर्देश जारी किए गए हैं.
राजस्व विभाग व आपदा प्रंबंधन के एक प्रवक्ता ने बताया कि संशोधित नियमों के अनुसार एसओपी के तहत अन्तर्राजीय आवाजाही के लिए औद्योगिक कर्मचारी, उद्योगपति, फैक्टरी मालिक, व्यापारी, कच्ची सामग्री, सेवा प्रदाता और निरीक्षण अधिकारियों को होम क्वारंटाइन से छूट दी गई है.
साथ ही वैध सहायक दस्तावेज व परमिट/ई-पास के साथ प्रदेश में प्रवेश करने वाले और देश में अधिक कोविड-19 मामलों वाले स्थानों व कंटेनमेंट जोन से नहीं आने वाले व्यक्ति जो व्यापार, व्यवसाय, रोजगार, परियोजना, सेवा के उद्देश्य, कमिशन एजेंटों व आढ़तियों को भी क्वारंटाइन से राहत दी गई है.
वहीं, किसी गैर सरकारी संगठन या धार्मिक संस्था का प्रबंधन, प्रभारी या मुखिया, जिसकी राज्य में शाखाएं हैं और अपने कार्य के संबंध में या आधिकारिक बैठक में भाग लेने के लिए 48 घंटे से कम समय अवधि के लिए प्रदेश में आता है.
आम लोगों के संपर्क में नहीं आता, समुचित शारीरिक दूरी कायम रखता है और कोविड-19 से बचाव संबंधी दिशा-निर्देशों का पालन करता है और किसी भी तरह की सामाजिक/सांस्कृतिक गतिविधियों का आयोजन नहीं करता, तो प्रदेश में क्वारंटाइन से छूट दी जाएगी. छूट में शामिल इन सभी वर्गों के साथ अन्य सभी मामलों में मूल आदेशों के अलावा आरोग्य सेतु ऐप डाउनलोड करना भी आवश्यक होगा.
राजस्व विभाग के प्रवक्ता ने कहा कि कोविड-19 से अधिक संक्रमित शहरों से आने वाले व्यक्तियों को संस्थागत क्वारंटाइन किया जाएगा. इसके अलावा केवल असाधारण मामलों जैसे विपत्तिजनक स्थिति, गर्भावस्था, परिवार में मृत्यु, गम्भीर बीमारी से पीड़ित, 65 वर्ष से अधिक आयु का गंभीर बीमारी से पीड़ित व्यक्ति, 10 वर्ष की आयु से कम बच्चे वाले माता पिता को संस्थागत क्वारंटाइन के स्थान पर 14 दिन के होम क्वारंटाइन की स्वीकृति दी जाएगी. इसके लिए होम क्वारंटाइन के लिए उपलब्ध प्रबंधों से जिला दंडाधिकारी संतुष्ट होने चाहिए.
प्रदेश में आने वाले प्रवासी मजदूरों को सीधा बागवानी, कृषि, ठेकेदार और परियोनाओं के कार्यस्थलों पर भेजा जा सकता है. इन स्थानों पर क्वारंटाइन के दिशा-निर्देश जैसे शारीरिक दूरी और लक्षणों की निरंतर निगरानी का पालन करते हुए मजदूर तुरंत कार्य शुरू कर सकते हैं. हालांकि इन मजदूरों की सक्रिय निगरानी की अवधि स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग के निर्देशों के अनुसार जारी रहेगी.
राज्य आपदा प्रबंधन की राज्य कार्यकारी समिति ने क्वारंटाइन के नियमों में संशोधन के मुताबिक प्रदेश के सभी विभागों व संगठनों, जिलाधीशों, पुलिस अधिकारियों, राज्य के कर्मियों और स्थानीय अधिकारियों को राष्ट्रीय आपदा प्रंबंधन प्राधिकरण और राष्ट्रीय कार्यकारी समिति के दिशा-निर्देशों की अनुपालना सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए हैं.
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