कुल्लू:हिमाचल प्रदेश में नशा तस्करों के हौसले बुलंद हैं. हालांकि, प्रदेश पुलिस द्वारा लगातार नशा तस्करों पर कार्रवाई की जा रही है, लेकिन उसके बाद भी नशे का काला कारोबार थमने का नाम नहीं ले रहा है. प्रदेश में पुलिस के आंकड़े इस बात की गवाही दे रहे हैं कि पुलिस की सख्ती के बाद भी हर साल नशा तस्करी के मामलों में बढ़ोतरी हो रही है. जबकि पुलिस द्वारा हर साल नशीले पदार्थों को भारी मात्रा में जब्त किया जा रहा है. वहीं, प्रदेश सरकार भी नशे को खत्म करने के दावे तो हर मंच से कर रही है, लेकिन धरातल पर एसा दिखाई नहीं दे रहा है.
हिमाचल प्रदेश के शिमला, सोलन, हमीरपुर, कांगड़ा, मंडी, ऊना और जिला कुल्लू सहित कई इलाकों में आए दिन हेरोइन और चरस की तस्करी के मामले सामने आ रहे हैं. इनमें सबसे अधिक युवा वर्ग संलिप्त पाया जा रहा है. इनमें युवक के साथ साथ युवतियों की गतिविधियां भी अधिक पाई जा रही है. ऐसे में नशा तस्कर अब कम उम्र के युवक और युवतियों को अपना निशाना बना रहे हैं. वहीं, इन नशीले पदार्थों के चपेट में आकर युवाओं का भविष्य खराब हो रहा है. इसके अलावा अधिक नशा करने के कारण युवाएं मौत की चपेट में भी आ रहे हैं.
हिमाचल में साल 2022 में नशा तस्करी के 1517 मामले सामने आए थे. वहीं, पुलिस ने 358 किलोग्राम चरस बरामद की थी. इसके अलावा विभिन्न मामलों में 32 किलोग्राम अफीम और 341 किलोग्राम अफीम के बीज बरामद किए थे. 70 हजार से अधिक भांग के पौधे नष्ट किए गए थे. वहीं, ब्राउन शुगर 22 ग्राम, हेरोइन 11 किलो 500 ग्राम और 60 ग्राम स्मैक भी बरामद की गई थी. नशीले पदार्थ मोरफिन भी 5 ग्राम बरामद हुआ था और 165 किलोग्राम गांजा भी पुलिस ने अपने कब्जे में लिया था. यही नगीं साल 2022 में हिमाचल प्रदेश में पुलिस ने अफीम डोडा 27 किलोग्राम नशीला सिरप 807 बोतल एमडीएमए 21 ग्राम, एमडीएम 67 ग्राम सहित अन्य नशीले पदार्थ बरामद किए थे.