हमीरपुर:भंग किए जा चुके कर्मचारी चयन आयोग हमीरपुर के कर्मचारियों को वेतन के लाले पड़ गए हैं. हालात ऐसे हैं कि कर्मचारियों के पास परिजनों के क्रिया कर्म करने तक के पैसे नहीं हैं. कर्मचारी चयन आयोग के एक कर्मचारी की माता का पिछले दिनों देहांत हुआ था इस कर्मचारी के पास मां का क्रिया कर्म करने के लिए भी पर्याप्त पैसे नहीं हैं. आयोग को भंग कर दिया गया है लेकिन कर्मचारी हर दिन कार्यालय के बाहर पहुंच रहे हैं. इस कड़ी में मंगलवार को आयोग के कार्यालय के बाहर कर्मचारी एकत्र हुए और अपनी समस्याओं का दुखड़ा मीडिया कर्मियों के समक्ष रखा.
कर्मचारियों ने खुलासा करते हुए कहा कि आयोग में जो ओएसडी सरकार की तरफ से नियुक्त किया गया है वह उनकी सुनवाई नहीं कर रहे हैं. कर्मचारियों का कहना है एक तरफ कार्मिक विभाग की तरफ से कोई जवाब नहीं मिल रहा है तो दूसरी तरफ सरकार की तरफ से आयोग में लगाए गए ओएसडी उनके फोन तक नहीं उठाते हैं. ओएसडी से मुलाकात करने का प्रयास किया गया था लेकिन व्यस्तता के कारण उन्होंने मिलने का समय नहीं दिया है.
हिमाचल प्रदेश कर्मचारी चयन आयोग हमीरपुर कर्मचारी संघ के महासचिव जोगिंदर सिंह का कहना है कि फरवरी महीने का वेतन अभी तक कर्मचारियों को नहीं मिल सका है. उन्होंने कहा कि मार्च महीने का वेतन मिलना तो दूर जनवरी महीने का वेतन 20 फरवरी को मिला था. सरकार की तरफ से जो ओएसडी आयोग में लगाए गए हैं वह कर्मचारियों का फोन तक नहीं उठा रहे हैं. कर्मचारियों को स्पष्ट दिशानिर्देश नहीं जारी किए गए हैं कि उन्हें किसे रिपोर्ट करना है. पिछले महीने कर्मचारी सेवानिवृत्त हुए थे लेकिन उनके पेंशन का केस भी सरकार को नहीं भेजा जा सकता है इस महीने भी कर्मचारी सेवानिवृत्त होने हैं.