भरमौर:उतर भारत का प्रसिद्व मणिमहेश यात्रा का आधिकारिक तौर पर आगाज गुरूवार को होने जा रहा है. जबकि यात्रा के तहत होने वाला जन्माष्टमी का शाही स्नान आज धार्मिक मान्यताओं के तहत 03 बजकर 38 मिनट पर शुरू हो जाएगा और यह सात सिंतबर दोपहर बाद 04 बजकर 15 मिनट तक चलेगा. पंडित सुमन शर्मा जन्माष्टमी पर्व पर होने वाले स्नान का शुर्भ मूहर्त को बताते है कि इस वर्ष जन्माष्टमी पर्व पर कृष्ण पावंग योग बन रहा है और रोहिणी नक्षत्र भी आ रहा है. उनकी मानें तो जन्माष्टमी पर्व पर इस वर्ष बहुत शुभ योग बन रहा है. उधर, 17 दिनों तक अधिकारिक तौर पर चलने वाली यात्रा को लेकर मणिमहेश न्यास एवं प्रशासन की ओर से सभी आवश्यक प्रबंध पूरे कर लिए है. साथ ही यात्रा के विभिन्न पड़ावों पर अधिकारियों और कर्मचारियों की तैनाती भी कर दी है. इसके अलावा पुलिस, होमगार्ड के जवानों के अलावा राहत व बचाव कार्यो के लिए एनडीआरएफ, एसडीआरएफ समेत पर्वतारोहियों ने भी यात्रा के अलग-अलग पड़ावों पर मोर्चा संभाल लिया है.
सेक्टरों में बांटे है यात्रा के विभिन्न पडाव: मणिमहेश न्यास के सदस्य सचिव एवं एसडीएम भरमौर कुलवीर सिंह राणा ने कहा कि यात्रा के विभिन्न पड़ावों को कुल तेरह सेक्टरों में विभाजित किया गया है. प्रत्येक सेक्टर में एक अधिकारी सहित अधीनस्थल स्टाफ की तैनाती की गई है. जबकि इन पर निगरानी रखने के लिए एक नोडल अधिकारी भी तैनात किया गया है. उन्होंने कहा कि यात्रा का पहला सेक्टर दुर्गेठी है. लूणा से खडामुख तक के हिस्से वाले इस सेक्टर में 27 सितम्बर तक टीम अपनी सेवाएं प्रदान करेंगे. इसी तरह लाहल सेक्टर में खडामुख से सावनपुर तक का हिस्सा शामिल रहेगा. भरमौर सेक्टर में सावनपुर से पटटी नाला तक का हिस्सा और चैरासी सैक्टर में पुराना बस अड्डा से भरमाणी मंदिर तक का पैदल मार्ग वाला भाग शामिल किया गया है. साथ ही इसमें चैरासी मंदिर क्षेत्र भी शामिल रहेगा. राजौर सैक्टर में पट्टी नाला से सांदी तक का क्षेत्र शामिल है, जबकि हडसर सैक्टर में सांदी से हडसर-कुगति पुल तक का क्षेत्र है.
11 कर्मचारी 27 सितंबर तक ड्यूटी पर रहेंगे तैनात:कुलवीर सिंह राणा ने कहा कि धणछो सैक्टर में हडसर से धणछो तक का क्षेत्र शामिल रहेगा. इस सैक्टर में 11 कर्मचारी तैनात किए गए हैं जोकि साप्ताहिक ड्यूटी प्रदान करेंगे . सुंदरासी सेक्टर में धणछो से सुंदरासी तक का हिस्सा शामिल किया गया है. इसमें 11 कर्मचारी 27 सितंबर तक ड्यूटी पर तैनात रहेंगे. गौरीकुंड सैक्टर में सुनराशि से गौरीकुंड तक का यात्रा क्षेत्र शामिल है व डल झील सैक्टर में गौरीकुंड से मणिमहेश झील तक का यात्रा क्षेत्र शामिल है. होली की ओर से वाया कलाह यात्रा के लिए कलाह सैक्टर स्थापित किया गया है. जिसमें लाके वाली देवी मंदिर से मणिमहेश वाया कलाह का क्षेत्र शामिल है. कुगति सैक्टर में मणिमहेश परिक्रमा क्षेत्र शामिल किया गया है. इसमें 07 सदस्यों की दो टीमें तैनात की गई हैं. कुलवीर सिंह राणा ने कहा कि सेक्टर में तैनात टीमें भरमौर मुख्यालय में स्थापित किए गए नियंत्रण कक्ष में लगातार सूचनाएं प्रदान करते रहेंगे. सेक्टरों में वायरलेस की सुविधा रहेगी.
ऑफलाइन पंजीकरण के लिए भरमौर में पांच केंद्र, बिना पंजीकरण नहीं होगी यात्रा:मणिमहेश न्यास एवं उपमंडलीय प्रशासन ने भरमौर में आने वाले श्रद्वालुओं के लिए उपमंडल के विभिन्न स्थानों पर पांच केंद्र स्थापित किए गए है. जिनमें यात्रियों के पंजीकरण की प्रक्रिया आरंभ हो चुकी है. जबकि ऑनलाईन रजिस्ट्रेशन इससे काफी पहले आरंभ कर दी गई है. उन्होंने कहा कि होली घाटी के कलाह गांव से होकर मणिमहेश यात्रा करने वाले श्रद्वालुओं के लिए त्यारी पुल के पटोला में पंजीकरण केंद्र स्थापित किया गया है. इसी तरह मणिमहेश परिक्रमा यात्रा वाया कुगती करने वालों के लिए कुगती स्थित केंद्र में पंजीकरण की व्यवस्था है. वहीं, उपमंडल मुख्यालय भरमौर में भी यात्रियों के पंजीकरण हेतू केंद्र स्थापित कर दिया है. बिना पंजीकरण भरमौर से आगे की ओर रूख करने वालों का प्रंघाला में पंजीकरण करने का प्रबंध किया गया है. इसी तरह गूईनाला में भी न्यास एवं प्रशासन की ओर से पंजीकरण केंद्र स्थापित किया जाएगा. पंजीकरण को लेकर प्रशासन की पुख्ता व्यवस्था का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि इसके लिए प्रत्येक केंद्र में 24 घंटें कर्मचारियों की उपलब्धता को सुनिशिचत बनाया गया है. पंजीकरण व्यवस्था को लेकर मणिमहेश न्यास की ओर से एक नोडल आफिसर की भी तैनाती की गई है. एसडीएम का कहना है कि बिना पंजीकरण के किसी भी यात्री को डल झील की ओर रूख करने नहीं दिया जा रहा है.