शिमला: राजधानी शिमला में मर रहे बंदरों को लेकर नगर निगम ने चिंता जाहिर की है. इसके कारण शहर में बीमारी फैलने का डर भी सता रहा है. शहर में बंदरों को मारने की बात से नगर निगम ने साफ इंकार किया है. नगर निगम ने बंदरों को जहर से मारने के तरीके को गलत बताया है.
बंदरों के अचानक मरने से राजधानी में हड़कंप,शहर में बीमारी फैलने का खतरा बढ़ा - Many monkeys have died in Shimla
राजधानी शिमला में बीते कुछ दिनों से शहर के कई क्षेत्रों में बंदरों के अचानक मरने से हड़कंप मचा हुआ है. लोगों के घरों के छतों और नालियों में बंदरों के शव मिल रहे हैं.
नगर निगम की महापौर कुसुम सदरेट ने कहा कि नगर निगम ने बंदरों को नहीं मारा है. उन्होंने कहा कि बंदरों को मारने का काम वन विभाग का है. शहर में जगह-जगह बंदरों के शव पड़े होने की शिकायतें आ रही है. वन विभाग इन जगहों पर वैन भेजकर उन्हें उठा रहा है. महापौर ने बंदरों को जहर देकर मारने के तरीके को गलत बताया है. उन्होंने कहा कि 300 बंदरों के मरने की सूचना है.
बता दें कि बीते कुछ दिनों से शहर के कई क्षेत्रों में बंदरों के अचानक मरने से हड़कंप मचा हुआ है. लोगों के घरों के छतों और नालियों में बंदरों के शव मिल रहे हैं. बताया जा रहा है कि बंदरों को जहर देकर मारा जा रहा है. बता दें कि बंदरों को इस तरीके से मारे जाने का लोग भी विरोध कर रहे हैं. वन विभाग ने भी सैंपल लेकर जांच के लिए भेजे हैं. हालांकि शहर में बंदरों को वार्मिंग घोषित किया गया है और लोगों को बन्दरों को मारने की छूट है.