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वाह ! क्या आइडिया है- मेरा बैग मेरी दुकान, अब कहीं भी बेचो अपना सामान

जिला प्रशासन ने मेड इन सिरमौर पहल के तहत इस चलती फिरती दुकान को तैयार करवाया है. डीसी ऑफिस सिरमौर में मेरा बैग, मेरी दुकान का ट्रायल हुआ. ईटीवी भारत से खास बातचीत में डीसी सिरमौर आरके परूथी ने बताया कि मेरा बैग-मेरी दुकान कुछ ही दिनों में मेड इन सिरमौर नाम से तैयार हो जाएगा और यह इनोवेशन जिला सिरमौर प्रशासन की है.

डिजाइन फोटो
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Published : Sep 20, 2020, 2:34 PM IST

नाहन: मेरा बैग-मेरी दुकान...अब कहीं भी बेच पाऊंगा मैं अपना सामान...! वैश्विक महामारी कोरोना के बीच डीसी सिरमौर के इस शानदार आइडिया को कालाअंब की एक कंपनी ने कुछ इस तरह साकार किया है. ये आइडिया आत्मनिर्भर बनने का ख्वाब देख रहे युवाओं के लिए किसी तोहफे से कम नहीं है. सिरमौर जिला प्रशासन ने मेड इन सिरमौर पहल के तहत इस चलती फिरती दुकान को तैयार करवाया है. डीसी ऑफिस सिरमौर में मेरा बैग, मेरी दुकान का ट्रायल हुआ. इसका ट्रायल डीसी कार्यालय परिसर में भी किया गया, वहां मौजूद लोगों ने इसकी खूब प्रशंसा भी की.

मेरा बैग-मेरी दुकान की टैगलाइन इस आइडिया पर सटीक बैठती है, क्योंकि यहां एक ही थैले में पूरी दुकान उपलब्ध होगी. ये बैग उन युवाओं, महिलाओं या स्वयं सहायता समूहों को ध्यान में रखते हुए तैयार किया गया है, जो अपने उत्पाद को पंख तो लगाना चाहते हैं लेकिन सुविधाओं और संसाधनों की कमी उनका रास्ता रोक लेती है, लेकिन इस जादुई बैग के साथ आप अपनी दुकान को कभी भी कहीं भी ले जा सकते हैं. इसमें बरसात से लेकर गर्मी तक बचने के पूरे बंदोबस्त हैं.

वीडियो रिपोर्ट

ईटीवी भारत से खास बातचीत करते हुए डीसी सिरमौर डॉ. आरके परूथी ने बताया कि मेड इन सिरमौर के तहत कालाअंब में स्थित एथेंस लाइफ साइंसेज के साथ एक आइडिया शेयर किया गया था कि जिस तरह से हमारे महिला मंडल, स्वयं सहायता समूह मेलों में स्टॉल लगाते हैं, तो बारिश-तूफान इत्यादि की सूरत में उनके उत्पाद खराब हो जाते हैं. साथ ही यह लोग खड़े रहते हैं और न ही कोई आराम मिलता है. इसी को ध्यान में रखते हुए मेरा बैग-मेरी दुकान प्रोजेक्ट को तैयार किया जा रहा है. प्रयास किया गया कि क्यों न सारी दुकान को एक पोर्टेबल बनाकर एक बैग में रख दिया जाए.

डीसी ने बताया कि इस एक बैग में से सामान निकाल कर कहीं भी दुकान लगाई जा सकती है. इसमें दो सेक्शन हैं, जिसमें सामने डिस्प्ले सेक्शन हैं, जहां पर बेचने हेतु सामान रखा जा सकता है. दूसरा स्टोर कम आराम करने का स्थान है. फोल्डिंग चेयर का प्रावधान रखा गया है. सोलर लाइट का भी प्रबंध किया गया है, जिसके माध्यम से दो बल्ब, मोबाइल चार्जिंग व पंखे की सुविधा भी उपलब्ध करवाई गई है. सोलर प्लेट के माध्यम से ही यह सारा सिस्टम चलेगा. डीसी ने कहा कि मेरा बैग-मेरी दुकान कुछ ही दिनों में मेड इन सिरमौर नाम से यह प्रोडक्ट तैयार हो जाएगा और यह इनोवेशन जिला सिरमौर प्रशासन की है.

कुल मिलाकर ये 32 किलो का बैग एक पोर्टेबल दुकान है, जिसका सारा सामान एक बैग में पैक हो जाता है. खास बात यह है कि यह दुकान कहीं भी किसी भी स्थान पर करीब 20 मिनट में तैयार हो जाती है. इस बैग में वाटर प्रूफ टैंट के अलावा, दो कुर्सियां, एक टेबल, मोबाइल चार्जिंग और गर्मियों के लिए पंखे तक की सुविधा है और रही बात बिजली की तो इसके लिए एक सोलर प्लेट दी गई है. दुकानदार के लिए इसमें आराम का भी पूरा इंतजाम है. इसके पिछले हिस्से में वक्त मिलने पर सुस्ता भी सकते हैं. बकायदा इसके लिए एक स्लीपिंग बैग भी दिया गया है.

कोरोना संकट काल में पीएम मोदी ने आत्मनिर्भर भारत और लोकल को वोकल करने का जो मंत्र दिया था, उसे सच करने की राह पर सिरमौर जिला प्रशासन ने अपने कदम बढ़ा दिए हैं. जिसके तहत आत्मनिर्भर होने का ख्वाब देख रहे युवाओं के लिए मेरा बैग, मेरी दुकान का आइडिया लेकर आया है जो पूरी तरह से मेड इन सिरमौर है.

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