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डॉक्टर, इंजीनियर, वकील और संगठन शिल्पी, आखिर किसे मिलेगी टिकट? - विधानसभा क्षेत्र हमीरपुर

हमीरपुर जिले में 5 विधानसभा क्षेत्र आते हैं और चार विधानसभा क्षेत्रों में लगभग परंपरागत और अनुभवी चेहरे ही मैदान में हैं. भाजपा के लिए टिकट आवंटन कांग्रेस की अपेक्षा अधिक चुनौतीपूर्ण हमीरपुर जिले में होने वाला है और सबसे अधिक चुनौती हमीरपुर विधानसभा क्षेत्र में ही है.

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डिजाइन फोटो.

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Published : Sep 20, 2022, 5:50 PM IST

हमीरपुर: विधानसभा क्षेत्र हमीरपुर (Hamirpur Assembly constituencies) में आगामी विधानसभा चुनावों के दृष्टिगत परंपरागत चेहरों के अलावा कई युवा चेहरे भी सक्रिय हैं. हमीरपुर विधानसभा क्षेत्र में डॉक्टर इंजीनियर वकील से लेकर संगठन से जुड़े युवा चेहरे भी राजनीति में भाग्य आजमाने के लिए प्रयासरत हैं.

ईटीवी भारत हमीरपुर विधानसभा क्षेत्र में चर्चित युवा चेहरों के सियासी दावों को आपके सामने रखेगा. राजनीति के लिए यह सुखद संकेत है कि हर पेशे से जुड़े युवा अब इस फील्ड में आगे आ रहे हैं. हमीरपुर जिले में 5 विधानसभा क्षेत्र आते हैं और चार विधानसभा क्षेत्रों में लगभग परंपरागत और अनुभवी चेहरे ही मैदान में हैं. भाजपा के लिए टिकट आवंटन कांग्रेस की अपेक्षा अधिक चुनौतीपूर्ण हमीरपुर जिले में होने वाला है और सबसे अधिक चुनौती हमीरपुर विधानसभा क्षेत्र में ही है.

कांग्रेस के लिए 3 विधानसभा क्षेत्र बड़सर नादौन और सुजानपुर टिकट आवंटन की दृष्टि से बेहद सुलझे हुए हैं और यहां पर पार्टी फिलहाल मजबूत स्थिति में भी नजर आ रहे हैं. हमीरपुर विधानसभा क्षेत्र में कांग्रेस और भाजपा के लिए चुनौती टिकट आवंटन की दृष्टि से सबसे अधिक है. दोनों ही दलों भाजपा और कांग्रेस के लिए यहां पर कुछ युवा चर्चित चेहरे भी मैदान में हैं. शिक्षित होने के साथ ही अपने-अपने पेशे में नाम कमाने वाले इन युवाओं ने अब राजनीति में अपने दावे को कुछ हद तक मजबूती देने में सफलता पाई है.

भाजपा से ताल्लुक रखने वाले दो बड़े चेहरे: पहले हम बात सत्तारूढ़ पार्टी भाजपा से ताल्लुक रखने वाले दो युवा चेहरों की बात करेंगे इनमें एक चेहरा तो हर हालात में चुनाव लड़ने का ऐलान भी कर चुका है. प्रदेश गौ सेवा आयोग के सदस्य इंजीनियर आशीष शर्मा एक दो नहीं बल्कि तीसरे सम्मेलन की तैयारी में जुटे हैं और संभवत वह अपने दावे को एक बार फिर दोहराएंगे. वह सार्वजनिक तौर पर टिकट की मांग करने के बजाए सीधे चुनावी मैदान में कूद पड़े हैं और युवा और महिला सम्मेलन का आयोजन कर अपने दावेदारी को भी जता चुके हैं.

आशीष शर्मा

भाजपा संगठन और सरकार में प्रदेश कौशल विकास निगम के समन्वयक नवीन शर्मा का भी भाजपा से ही टिकट का दावा है. अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद में लंबे समय तक पूर्णकालिक के रूप में एक संगठन शिल्पी की छवि लिए नवीन शर्मा सरकार का भी चेहरा है. भाजपा से यह दोनों चेहरे हमीरपुर विधानसभा क्षेत्र में टिकट की दृष्टि से परंपरागत प्रत्याशियों के लिए एक बड़ी चुनौती बनकर उभरे हैं.

नवीन शर्मा

कांग्रेस की तरफ से दो मुख्य चेहरे:मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस की बात करें तो यहां पर डॉक्टर पुष्पेंद्र वर्मा ने तो सरकारी नौकरी से भी रिजाइन दे दिया है. डॉ. पुष्पेंद्र वर्मा नोटिस पीरियड पर चल रहे हैं और कांग्रेस पार्टी की तरफ से टिकट के लिए उनका दावा मजबूत माना जा रहा है इतना ही नहीं डॉक्टर पुष्पेंद्र वर्मा का नाम पार्टी टिकट के पैनल में भी होने की चर्चा है. कांग्रेस की तरफ से एक और युवा चेहरा मैदान में है जो लंबे समय से एनएसयूआई से होकर अब वकालत में भी अपना नाम कमा चुका है.

डॉक्टर पुष्पेंद्र वर्मा

एडवोकेट रोहित शर्मा के दावे को भी कांग्रेस पार्टी में दरकिनार नहीं किया जा सकता है यदि युवा चेहरों टिकट देने की बात आएगी तो रोहित शर्मा का नाम भी आगे रहेगा. दोनों ही दलों की तरफ से भाजपा और कांग्रेस में इंजीनियर आशीष शर्मा संगठन का चेहरा नवीन शर्मा और डॉ पुष्पेंद्र वर्मा और एडवोकेट रोहित शर्मा के नाम इन दिनों खूब चर्चा में है.

एडवोकेट रोहित शर्मा

दोनों ही दलों कांग्रेस और भाजपा की एक दूसरे पर नजर है यदि एक भी पार्टी युवा चेहरे पर दांव चलती है तो निश्चित तौर पर दूसरे पार्टी हुई युवा चेहरे को मैदान में उतार सकती है. टिकट आवंटन के बाद दूसरी चुनौती इन युवाओं के लिए परंपरागत उन चेहरों को भी साथ लेकर चलने की होगी जो अभी भी चुनावी दृष्टि से पूरी तरह से सक्रिय हैं, हालांकि अभी सियासत की इस लड़ाई में पहला कदम पार्टी टिकट हासिल करना ही है.

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