चंडीगढ़: रविवार को चौथे दिन भी किसान कृषि कानूनों के खिलाफ सिंघु बॉर्डर पर डटे रहे. उन्होंने बैठक कर फैसला किया कि जब तक उनकी मांगों को पूरा नहीं किया जाता, तब तक उनका प्रदर्शन जारी रहेगा. किसानों ने साफ किया कि अगर उनकी मांगों को नहीं माना गया तो वो दिल्ली आने-जाने वाले सभी रास्तों को बंद कर देंगे. किसानों ने तय किया है कि वे अभी सिंघु बॉर्डर पर ही प्रदर्शन करेंगे और बुराड़ी के निरंकारी समागम मैदान में नहीं जाएंगे. इसके अलावा किसानों ने तय किया है कि वे रोजाना 11 बजे मीटिंग करेंगे और आगे की रणनीति तय करेंगे.
'जाम करेंगे दिल्ली के 5 प्वाइंट, चार महीने का राशन साथ लाए हैं'
कृषि कानून के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे किसानों ने बुराड़ी जाने से मना कर दिया है. उनका कहना है कि बुराड़ी खुली जेल की तरह है. किसान संगठन भारतीय किसान यूनियन पंजाब के प्रदेश अध्यक्ष सुरजीत सिंह फूल ने कहा कि बातचीत के लिए रखी गई शर्त किसानों का अपमान है. हम बुराड़ी कभी नहीं जाएंगे. बुराड़ी ओपन पार्क नहीं है एक ओपन जेल है.
सुरजीत सिंह ने कहा कि 'बुराड़ी जेल जाने की बजाए हम दिल्ली में एंट्री के पांच रास्तों का घेराव करेंगे. हमारे पास चार महीने का राशन है तो हमारे लिए चिंता की बात नहीं है. हमारी ऑपरेशन कमेटी आगे का फैसला लेगी.' उन्होंने कहा कि हम अपने मंच पर किसी भी राजनीतिक दल को जगह नहीं देंगे.
किसानों ने अमित शाह के प्रस्ताव को किया खारिज
मतलब ये कि किसान संगठनों ने गृह मंत्री अमित शाह के प्रस्ताव को खारिज कर दिया है. यानी किसान अब दिल्ली-हरियाणा के सिंघु बॉर्डर से बुराड़ी के निरंकारी समागम मैदान नहीं जाएंगे. किसानों ने कहा है कि उनका प्रदर्शन सिंघु बॉर्डर पर ही जारी रहेगा. अमित शाह ने शनिवार को किसानों से अपील की थी कि किसान सिंघु बॉर्डर से हट जाएं और बुराड़ी के निरंकारी समागम मैदान में चले जाएं. अमित शाह ने कहा था कि सरकार किसानों से वहां बात करने को तैयार है. लेकिन किसानों ने इस अपील को ठुकरा दिया है.
रविवार को सिंघु बॉर्डर पर किसानों ने प्रदर्शन तेज करने का फैसला किया है. किसानों ने कहा है कि 1 दिसंबर से राज्यों में भी प्रदर्शन शुरू होगा. अखिल भारतीय किसान संघर्ष समन्वय समिति ने कहा है कि पंजाब और हरियाणा के किसान भारी संख्या में गोलबंद होकर पहुंच रहे हैं. यूपी और उत्तराखंड के किसान भी दिल्ली आ रहे हैं. किसान संगठनों ने अपील की है कि किसानों के सभी पक्षधर, कॉरपोरेट विरोधी ताकतें हमारा समर्थन करें.
30 संगठनों ने मिलकर लिए ये फैसले
- दिल्ली की सीमा होगी सील
- सिंघु बॉर्डर पर धरना जारी रहेगा
- बहादुरगढ़ बॉर्डर पर धरना जारी रहेगा
- जयपुर-दिल्ली हाईवे को किया जाएगा बंद
- मथुरा-आगरा हाईवे को किया जाएगा सील
- बरेली-दिल्ली हाईवे को भी किया जाएगा बंद
- बुराड़ी निरंकारी मैदान में नहीं जाएंगे किसान
क्या हैं किसानों की मांगे?
- 3 कृषि कानून वापस हों
- आने वाले 2 नए अध्यादेशों को वापस लिया जाए
- गिरफ्तार किसानों को रिहा किया जाए
- राज्य सरकार को उनके हक दिए जाएं
- तेल की कीमतों पर नियंत्रण होना चाहिए