उत्तरकाशी :अगर आप भी साहसिक पर्यटन के शौकिन हैं तो यह खबर आपके लिए है.आपको बता दें कि दुनिया के सबसे खतरनाक रास्तों में सुमार उत्तराखंड के उत्तरकाशी स्थितिगरतांग गली को पर्यटकों के लिए खोल दिया गया है. लोक निर्माण विभाग ने इस विश्व विरासत का पुनर्निर्माण 65 लाख की लागत से किया है, जो करीब 136 मीटर लंबी सीढ़ीनुमा रास्ता है और चौड़ाई करीब 1.8 मीटर है.
गरतांग-गली करीब 11 हजार फीट की ऊंचाई पर जाड़ गंगा के ऊपर खड़ी चट्टानों पर बनाया गया सीढ़ीनुमा रास्ता है. गरतांग गली को बुधवार को जिला प्रशासन और गंगोत्री नेशनल पार्क ने पर्यटकों के लिए खोल दिया है. यहां आने वाले पर्यटकों को कोविड नियमों का पालन करना होगा.
बता दें कि लोक निर्माण विभाग ने इस विश्व विरासत का पुनर्निर्माण 65 लाख की लागत से किया. जो करीब 136 मीटर लंबी सीढ़ीनुमा रास्ता है. इसकी चौड़ाई करीब 1.8 मीटर है. यह रास्ता भारत-तिब्बत व्यापार का जीता-जागता गवाह है. साथ ही 1962 में भारत-चीन युद्ध के समय सेना ने भी इसी खतरनाक रास्ते का प्रयोग अंतरराष्ट्रीय सीमा तक पहुंचने के लिए किया था.
गरतांग गली के खुलने पर होटल और पर्यटन व्यवसाय से जुड़े लोगों ने खुशी व्यक्त की है. डीएम मयूर दीक्षित ने बताया कि गरतांग गली को कोविड गाइडलाइन और एसओपी के अनुरूप पर्यटकों के लिए खोला गया है. इसके लिए गंगोत्री नेशनल पार्क को निर्देशित किया गया है कि भैरो घाटी में पंजीकरण करने के बाद ही पर्यटकों को गरतांग गली जाने दिया जाए. साथ ही एक बार केवल 10 लोग ही गरतांग गली का दीदार कर सकेंगे.