रायपुर: सीजीपीएससी को लेकर एक बार फिर बीजेपी प्रदेश की कांग्रेस सरकार पर हमलावर है. सोमवार को भाजयुमों की ओर से सीएम हाउस का घेराव से पहले भारतीय जनता युवा मोर्चा के राष्ट्रीय अध्यक्ष तेजस्वी सूर्या ने बिजली आफिस चौक सप्रे मैदान के पास कार्यकर्ताओं में जोश भरा. तेजस्वी सूर्या ने सीएम भूपेश बघेल पर जमकर हमला बोला और छत्तीसगढ़ में भाजपा के दो तिहाई बहुमत से वापसी करने का दावा किया.
सीएम बघेल हैं सोनिया गांधी के कलेक्शन मास्टर-तेजस्वी:सांसद तेजस्वी सूर्या ने प्रदेश सरकार पर हमला बोलते हुए कहा"6 महीने पहले जो बात मैने कही थी वह सच हुई. शराब घोटाला, कोल घोटाला, पीएससी घोटाला सामने आया है. सीएम बघेल सोनिया गांधी के कलेक्शन मास्टर हैं. कलेक्शन मास्टर की क्षमता दिखा रहे हैं. देश में सबसे घटिया पीएससी है तो छत्तीसगढ़ में भूपेश बघेल के राज में है. एक साल की परीक्षा करने के लिए यहां की पीएससी 3 साल लगाती है."
डीटीएच की तरह पीएससी में कांग्रेसी ले रहे फैमिली पैक:तेजस्वी सूर्या ने कहा कि "यूपीएससी में एक परीक्षा में 8 महीने का समय लगता है और पारदर्शिता में साथ परीक्षा पूरी होती है. लेकिन छत्तीसगढ़ पीएससी 3 साल का समय एक परीक्षा को करने लगाती है. सातवें नम्बर पर आने वाले नितेश सीजीपीएसी के चेयरमैन टामन सोनवानी के बेटे का नाम है. आप गरीब हैं तो आपको यहां जगह नहीं मिलेगी. बाई वन गेट वन में कांग्रेस के नेता सुधीर कटियार की बेटी और भतीजी को सीट मिली. सीजीपीएसी में फैमिली पैक भी है. जिस तरह से किसी टेलीविजन में डीटीएच का पैकेज लेते है, उसी तरह कांग्रेस के नेताओं ने पीएससी में फैमिली पैक खरीद लिया है."
सरकार बनेगी तो कराएंगे सीबीआई जांच:तेजस्वी सूर्या ने सीजीपीएससी घोटाले को देश के सबसे बड़े घोटालों में से एक बताया. इसी के खिलाफ प्रदेश के युवा भाजयुमो के साथ मिलकर सीएम हाउस का घेराव कर रहे हैं. छत्तीसगढ़ के नेताओं के साथ अन्याय है. घोर आपातकाल है. यहां के युवा इस पीएससी घोटाले से पीड़ित हो चुके हैं. तेजस्वी सूर्या ने छत्तीसगढ़ में सरकार बनने पर सीजीपीएससी घोटाले की सीबीआई कराने की बात कही.
सीजीपीएससी में भ्रष्ट और मैनिपुलेटिव सिस्टम:तेजस्वी सूर्या ने मीडिया से चर्चा के दौरान पीएससी की चयन प्रक्रिया और पद्धति को सबसे भ्रष्ट और मैनिपुलेटिव बताया. प्रश्नपत्र में 10 से 20 प्रतिशत तक प्रश्न गलत होते हैं. आंसर कीज भी गलत होती हैं. मॉडल आंसर जो पहले मिलते हैं, लेकिन बाद में अमेंडेंट ऑन्सर प्रकाशित नहीं होते. प्रतियोगी परीक्षाओं को साजिश के आधार पर जटिल बनाकर, पहले से लक्षित अभ्यर्थी का चयन तय कर उन्हें ऑन्सर शीट्स लीक कर दी जाती है. फिर लक्षित अभ्यर्थी का चयन कर लिया जाता है. तेजस्वी सूर्या ने कहा कि "यही भ्रष्ट और मैनिपुलेटिव सिस्टम सीजी-पीएससी में चल रहा है. जो बच्चे यहां प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी कर रहे हैं, वे आम सामान्य परिवार से आते हैं. तीन-चार वर्षों की कठिन मेहनत के बाद भी सिस्टम ही जब इन युवाओं के खिलाफ है, तो वे हतोत्साहित होते हैं. इससे समूची व्यवस्था से भरोसा खत्म हो जाता है."