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बगहा गंडक नदी में कटाव, भय से ग्रामीण खुद तोड़ रहे अपना आशियाना - बगहा गंडक नदी में कटाव

वाल्मीकिनगर विधायक धीरेंद्र प्रताप (valmikinagar Mla dheerendra Pratap) ने कहा कि विभाग हमलोगों की नहीं सुनता है. हमने कई बार विभाग को कहा है लेकिन जलसंसाधन विभाग के सुस्त रवैये से लोगों को एक स्थान से दूसरे स्थान पर जाना पड़ रहा है. पढ़ें पूरी खबर...

बगहा गंडक नदी में कटाव
बगहा गंडक नदी में कटाव

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Published : Aug 8, 2022, 2:35 PM IST

पश्चिमी चंपारण: बिहार के बगहा में गंडक नदी में कटाव (Erosion in Gandak river in Bagaha) काफी तेजी से होने लगा है. जिले के ठकराहा प्रखंड के मोतीपुर पंचायत अंतर्गत शिवपुर मुसहरी और हरखटोला के लोग वहां से बाढ़ की वजह से अपने घर को तोड़कर किसी सुरक्षित जगह पर पलायन करने लगे हैं. वहीं इस बात की जानकारी मिलने पर वाल्मीकिनगर विधानसभा विधायक धीरेंद्र प्रताप (MLA DHEERENDRA PRATAP) का कहना है कि अधिकारी हमलोग के बात भी नहीं सुनते हैं. यदि अधिकारियों के खिलाफ कोई एक्शन नहीं लिया जाता तो हम अपने क्षेत्र की जनता के सुरक्षा के लिए आंदोलन भी करेंगे.


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बगहा में गंडक नदी में कटाव: जिले के ठकराहा प्रखंड में गण्डक नदी पिछले महीने से लगातार कटाव कर रही है. इसके बचाव के लिए जिला के जल संसाधन विभाग (Department of Water Resources In West Champaran) ने कोई ठोस पहल नहीं की है. लिहाजा नदी कटाव करते हुए गांव तक पहुंच गई है. ऐसे में अब ग्रामीण अपने घर के ईंट को बचाने के लिए घरों को तोड़कर वहां से पलायन करने पर विवश होते हैं. वहीं पीड़ित ग्रामीणों का कहना है कि विभाग ने अब तक कटावरोधी काम को शुरु नहीं किया है. वहीं नदी के कटाव और रुख को देखकर लोग पलायन कर रहे हैं. नदी में कटाव के कारण नदी और गांव की दूरी में बहुत कमी हो गया है. रविवार की दोपहर तक गांव और नदी के बीच की महज 20 मीटर तो कहीं 40 मीटर तक नापी गई है.


गांव का अस्तित्व पर संकट का बादल: मोतीपुर पंचायत के मुखिया जितेंद्र मिश्रा ने बताया कि गंडक नदी के तेज कटाव के कारण हरखटोला और शिवपुर मुसहरी गांव का अस्तित्व पर संकट का बादल छाया है. ग्रामीण अपने घर से सामानों को लेकर जाने पर मजबूर है. उन ग्रामीणों को रहने का कोई ठिकाना भी नहीं मालूम है. गांव से निकलकर पलायन करने वाले कुल 50-60 परिवार के लोग है. बावजूद इसके प्रशासन इन परिवार को सुरक्षित स्थान पर रहने के लिए व्यवस्था नहीं कर रही है. जिसके कारण लोग कहीं भी ठहरकर अपनी जिंदगी बचाने को मजबूर हैं.

विधायक करेंगे विभाग के खिलाफ आंदोलन: वहीं दूसरी तरफ वाल्मीकिनगर विधायक धीरेंद्र प्रताप उर्फ रिंकू सिंह का कहना है कि उन्होंने जल संसाधन विभाग के अधिकारियों को कई बार इस बात की जानकारी दी लेकिन विभाग के सुस्त रवैये से कोई ठोस पहल नहीं किया गया है. उन्होंने कहा कि अगर ऐसी परिस्थिति ही रही तब वह विभाग के खिलाफ आंदोलन का रुख अख्तियार करेंगे.

'जल संसाधन विभाग के अधिकारियों को कई मर्तबा सूचना दी गई, लेकिन विभाग द्वारा अब तक कोई ठोस पहल नही किया गया है. ऐसे में यदि अब भी विभाग सीरियस नहीं होता है, तो आंदोलन का रुख अख्तियार करेंगे.'-धीरेंद्र प्रताप, विधायक, वाल्मीकिनगर

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