पूर्णिया:बिहार के पूर्णिया में कोरोना काल में दो दोस्तों की पहल से शुरू किए गए हैंडलूम स्टार्टअप को अब ग्लोबल पहचान मिल रही (Handloom Startup Got Global Recognition) है. एमटीवी और स्टार वर्ल्ड जैसे टीवी चैनलों की फैशन एडवाइजर की डिमांडिंग जॉब छोड़कर मनीष ने जिस हैंडलूम फैशन की बुनियाद रखी थी, उसकी धमक पूर्णिया से निकलकर अब न सिर्फ भारत में बल्कि दुबई और फैशन की नगरी पेरिस तक पहुंच चुकी है. मनीष और सुभाशीष ने हैंडलूम फैशन से जुड़े सूबे के जिस पहले फैशन ई-कामर्स कंपनी की नीव रखी थी, वह अब फैशन के क्षेत्र में बिहार को नई दिशा दे रहा है. भारत सरकार का टेक्स्टाइल मिनिस्ट्री भी दोनों दोस्तों के प्रयास और समर्पण के साथ है.
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ऐसे बना हाउस ऑफ मैथिली: ईटीवी भारत से अपने संघर्षों को साझा करते हुए मनीष बताते हैं कि कोरोना काल में जब उन्होंने इसकी शुरुआत की थी. इसे 'हाउस आफ मैथिली' का नाम दिया. वे बिहार की मिथिला पेंटिंग को मॉडर्न फैशन जगत में ग्लोबल मुकाम देना चाहते थे. लिहाजा शहर के बक्सा घाट से मित्र मनीष की मदद से हैंडलूम स्टार्टअप की शुरुआत की. उन्होंने कहा कि एमटीवी और स्टार वर्ल्ड टीवी चैनलों में फैशन सलाहकार का तजुर्बा, अथक मेहनत और सतत प्रयास काम आया.
"हमने कई बॉलीवुड और टीवी हस्तियों का लुक डिजाइन किया है. अपने काम के दौरान कई बार भारत के विभिन्न हिस्सों में बुनकरों से मिलने और उनके साथ मिलकर काम करने का मौका मिला. उनका तजुर्बा यहां काम आया. हमारे उत्पाद की गुणवत्ता को देखते हुए दुबई के लोगों ने इंटरनेट से सर्च कर हाउस ऑफ मैथिली का नंबर निकाल कर हमसे संपर्क किया और 300 गुडी बैग यानी हैंडबैग का आर्डर दिया है."- मनीष, उद्यमी