पटनाःचुनाव में महिलाओं की भागीदारी को लेकर हमेशा सवाल खड़े होते रहे हैं. बिहार की राजनीति में महिलाओं की भागीदारी हाल के दिनों में बढ़ी है, फिर भी पुरुषों की तुलना में उनकी संख्या काफी कम है. पिछले बिहार विधानसभा चुनाव में 28 महिलाओं ने जीत दर्ज की थी. जिनमें से 10 राष्ट्रीय जनता दल से थी. इस बार भी आरजेडी में महिलाएं टिकट दावेदारी के मामले में पुरुषों को टक्कर दे रही हैं.
50-50 के हिसाब से महिलाओं ने पेश की दावेदारी
पुरुषों के साथ कदम से कदम मिलाकर चलने वाली महिलाओं ने इस बार के चुनाव में टिकटों की दावेदारी भी लगभग 50-50 के हिसाब से की है. पिछले कुछ चुनावों की तुलना करें तो साल 2005 में जहां 25 महिला प्रत्याशियों को जीत हासिल हुई थी, वहीं 2010 में सबसे ज्यादा 37 महिलाएं जीतकर बिहार विधानसभा पहुंची. साल 2015 में 28 महिलाएं विभिन्न पार्टियों से जीतकर बिहार विधानसभा में पहुंची. इनमें से सबसे ज्यादा 10 महिलाएं राष्ट्रीय जनता दल से थी.
2015 में सभी सीटों पर दर्ज की थी जीत
आरजेडी ने साल 2015 के विधानसभा चुनाव में 10 महिलाओं को टिकट दिया था और सभी ने जीत हासिल की थी. यही वजह है कि इस बार भी महिलाएं ज्यादा से ज्यादा सीटों पर चुनाव लड़ना चाहती हैं. पार्टी के दफ्तर में इन दिनों बड़ी संख्या में महिलाएं भी टिकट की दावेदारी के लिए पहुंच रही हैं.
100 से ज्यादा महिलाओं ने जमा किया बायोडाटा
आरजेडी के प्रदेश अध्यक्ष जगदानंद सिंह खुद टिकट के दावेदारों से बायोडाटा ले रहे हैं. इनमें हर रोज 10 से 15 महिलाएं पहुंच रही हैं. पार्टी सूत्रों के मुताबिक 100 से ज्यादा महिलाओं ने अब तक विभिन्न विधानसभा सीटों के लिए अपना बायोडाटा जमा किया है.
"हम सब चाहते हैं कि महिलाओं की भागीदारी बढ़े. हम उम्मीद कर रहे हैं कि सभी 38 जिलों में कम से कम एक महिला को इस बार पार्टी की तरफ से मौका मिले."
-डॉ. उर्मिला ठाकुर, आरजेडी महिला प्रकोष्ठ की अध्यक्ष