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कार्तिक पूर्णिमा: लाखों श्रद्धालुओं ने गंगा में लगाई आस्था की डुबकी

कार्तिक पूर्णिमा के अवसर पर पटना समेत पूरे बिहार में लाखों श्रद्धालुओं ने आस्था की डुबकी लगाई. गंगा स्नान के बाद श्रद्धालुओं ने घाट के पास स्थित मंदिरों में पूजा-अर्चना की.

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कार्तिक पूर्णिमा

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Published : Nov 30, 2020, 10:29 AM IST

Updated : Nov 30, 2020, 11:23 AM IST

पटना: कार्तिक पूर्णिमा के अवसर पर सोमवार को पटना समेत पूरे बिहार में लाखों श्रद्धालुओं ने आस्था की डुबकी लगाई. गंगा स्नान के बाद श्रद्धालुओं ने दान पुण्य किया. कार्तिक पूर्णिया के स्नान के लिए पटना के गांधी घाट पर रविवार शाम से ही लोग जुटने लगे थे. हजारों की संख्या में श्रद्धालु पटना में गंगा के घाटों पर रात भर टिक रहे. अल सुबह तीन बजे से स्नान शुरू हुआ. गंगा स्नान के बाद श्रद्धालुओं ने घाट के पास स्थित मंदिरों में पूजा-अर्चना की.

गांधी घाट पर गंगा स्नान के लिए आए श्रद्धालुओं की सुरक्षा के लिए पुख्ता इंतजाम किए गए हैं. यहां महिलाओं के लिए चेंजिंग रूम बनाए गए हैं. घाट पर बांस से बैरिकेडिंग की गई है. बैरिकेड के बाहर जिला प्रशासन की नाव लगाई गई है ताकि कोई बैरिकेड पार कर गहरे पानी में न चला जाए. एसडीआरएफ की टीम लगातार नदी में नाव से गश्त लगा रही है. बाढ़ अनुमंडल के उत्तर वाहिनी गंगा नदी के तट पर भी हजारों श्रद्धालुओं ने गंगा नदी में डूबकी लगाकर मंदिरों में पूजा की.

बाढ़ में गंगा स्नान

रेवा घाट पर रातभर लगा मेला
गंगा स्नान के लिए सारण जिले के रेवा घाट पर लाखों की संख्या में श्रद्धालु पहुंचे. यहां रातभर मेला लगा रहा. सुबह तीन बजे से श्रद्धालुओं ने गंगा श्नान शुरू कर दिया. घाट पर प्रशासन द्वारा रोशनी की व्यवस्था की गई थी ताकि श्रद्धालुओं को परेशानी न हो. गहरे पानी में जाने से लोगों को बचाने के लिए बैरिकेडिंग की गई थी. यहां एसडीआरएफ की टीम नाव से नदी में गश्त लगाती रही. बक्सर के प्रसिद्ध राम रेखा घाट पर गंगा स्नान के लिए रविवार शाम से ही लोग आने लगे थे. रातभर श्रद्धालु घाट पर रहे. सुबह स्नान के बाद श्रद्धालुओं ने पूजा-अर्चना की.

कार्तिक पूर्णिमा पर गंगा स्नान का महत्व
धार्मिक मान्यताओं के अनुसार भरण और रोहिणी नक्षत्र में कार्तिक पूर्णिमा का खास महत्व है. कहा जाता है कि रोहिणी नक्षत्र रहने के कारण पूर्णिमा का स्नान अधिक शुभ होता है. कार्तिक मास को परम पावन कहा गया है. इस माह में किए गए पुण्य कर्मों का अनन्त गुना फल मिलने की मान्यता है.

आज तुलसी पूजा का है खास महत्व
आज भगवान विष्णु और माता लक्ष्मी की पूजा की जाती है. कहा जाता है कि पूर्णिमा के दिन तुलसी का बैकुंठ धाम में आगमन हुआ था. इसलिए कार्तिक पूर्णिमा के दिन तुलसी पूजा का खास महत्व है. इसी दिन तुलसी का पृथ्वी पर आगमन भी हुआ था. इस दिन श्रीहरि की पूजा में तुलसी अर्पित करना लाभदायक होता है.

ऐसी मान्यता है कि इस दिन घरों में तुलसी के पौधे के आगे दीपक जलाने और भगवान विष्णु की पूजा करने से माता लक्ष्मी प्रसन्न हो जाती हैं. कार्तिक मास आरोग्य प्रदान करने वाला, रोगविनाशक और सद्बुद्धि प्रदान करने वाला है. यह मां लक्ष्मी की साधना के लिए सर्वोत्तम है.

Last Updated : Nov 30, 2020, 11:23 AM IST

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