पटना: बिहार चुनाव से पहले रोजगार के मुद्दे पर सत्ता पक्ष ने कई वादे किए थे. लेकिन अब ऐसा होता नहीं दिख रहा है. वहीं, युवाओं को रोजगार दिलाने और विभिन्न भर्तियों में हो रही अनियमितताओं को लेकर भाकपा माले की ओर से छात्र-नौजवानों के साथ मिलकर आंदोलन किया जा रहा है. अब बहाली न्याय संयोजन समिति का गठन किया गया है.
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19 लाख रोजगार की मांग, क्या सरकार भूल गई
भाकपा माले के विधायक संदीप सौरव ने बताया कि, "बिहार में 19 लाख रोजगार की मांग नौजवान कर रहे हैं. अलग-अलग बहालियों में धांधली हो रही है. जिस तरह से देरी हो रही है, उसमें न्याय के इंतजार में संघर्ष करने वाले लोगों को एक प्लेटफार्म पर लाने के लिए यह साझा मंच तैयार किया है ताकि सरकार पर दबाव बन सके. बिहार के मेन स्ट्रीम मीडिया और मेन स्ट्रीम पॉलिटिक्स के लिए सवाल बन सके."
बहाली न्याय संयोजन समिति का गठन
उन्होंने बताया कि एक बहाली के लिए नौजवानों को 10 साल तक इंतजार करना होता है. नौजवानों की उम्र खत्म हो रही है, लेकिन सरकार सुन नहीं रही. युवा और नौजवान अपनी मांगों को उठाते हैं तो सरकार लाठीचार्ज करवाती है. फर्जी मुकदमे करके जेल में डाल देती है. इन चीजों से लोग अलग-अलग बंटे नहीं और एक मंच पर आएं. इसलिए बहाली न्याय संयोजन समिति का गठन किया गया है.
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पॉलिसी लेवल पर हो बदलाव
वहीं, संदीप सौरव ने कहा कि सरकार की इन गलत नीतियों से हम डरने वाले नहीं और ना ही पीछे हटने वाले हैं. बल्कि मजबूती से छात्रों और युवाओं की आवाज को बुलंद करेंगे. बहाली न्याय संयोजन समिति चलता रहेगा. इस समिति से नौजवान जुड़ते जाएंगे. हम लोग चाहते हैं कि बिहार में पॉलिसी लेवल पर कोई बदलाव हो. सरकार ऐसी पॉलिसी बनाए जिसके तहत किसी भी बहाली के लिए समय सीमा तय हो.
रोजगार की मांग को लेकर संघर्ष रहेगी जारी
उन्होंने कहा कि समय पर बहाली की प्रक्रिया नहीं हुई तो कार्रवाई भी की जाए. क्योंकि अक्सर ऐसा देखने को मिलता है कि छात्रों नौजवानों को काफी लंबे समय तक इंतजार करना पड़ता है. खासकर बीजेपी शासित राज्यों में ऐसा अधिक देखने को मिलता है. इसलिए हम संघर्ष करेंगे और यह संघर्ष जारी रहेगा.