पटनाः बिहार में प्रमुख सत्ताधारी दल जदयू के अंदर घमासान मचा हुआ है. जबसे आरसीपी सिंह केंद्रीय मंत्री बने हैं, जदयू में खेमेबाजी साफ दिख रही है. उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव के बहाने ललन सिंह ने केंद्रीय मंत्री आरसीपी सिंह (Union Minister RCP Singh) को टारगेट करने की पूरी कोशिश की लेकिन आरसीपी सिंह के जवाबी हमले के बाद पार्टी नेताओं की स्थिति असहज हो गई है. जदयू अध्यक्ष ललन सिंह (JDU President Lalan Singh) के लगातार बयानबाजी के बाद आरसीपी सिंह ने साफ चेतावनी दी है कि दाएं-बाएं ना करें. जनता ने 2025 तक काम करने का अवसर दिया है, काम करने दें. जदयू के शीर्ष नेताओं के घमासान पर राजनीतिक जानकार भी कहते हैं कि पार्टी को इससे आने वाले दिनों में बड़ा नुकसान हो सकता है.
यह भी पढ़ें- यूपी में बीजेपी और जेडीयू में गठबंधन पर पेंच, RCP कम पर भी राजी लेकिन ललन की 50 प्लस पर दावेदारी!
दरअसल, उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में आरसीपी सिंह को बीजेपी से तालमेल के लिए अधिकार दिया गया था. बीजेपी से तालमेल नहीं हुआ और ललन सिंह को हमला करने का मौका मिल गया. उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में जदयू ने 26 सीटों का अभी ऐलान किया है. 20 उम्मीदवारों की भी घोषणा कर दी है. स्टार प्रचारकों की सूची में भी आरसीपी सिंह का नाम शामिल नहीं था लेकिन आरसीपी सिंह के तेवर के बाद पार्टी की तरफ से सफाई दी गई कि आरसीपी सिंह भी यूपी में प्रचार करेंगे.
राजनीति के जानकार साफ बता रहे हैं कि जदयू के अंदर जबरदस्त घमासान मचा है. केंद्र में मंत्री नहीं बनाए जाने के बाद से ही ललन सिंह नाराज हैं. हालांकि पार्टी ने उन्हें राष्ट्रीय अध्यक्ष बनाकर उनकी नाराजगी को कम करने का कोशिश जरूर की है, लेकिन उनकी नाराजगी आरसीपी सिंह से है जो खुद मंत्री बन गए. हालांकि आरसीपी सिंह ने लंबे समय तक मुंह नहीं खोला था लेकिन लगातार हमला होने के बाद जिस प्रकार से आरसीपी सिंह की तरफ से रिएक्शन आए हैं, साफ है कि जदयू के अंदर तकरार और बढ़ेगा.
'जदयू के दो शीर्ष नेताओं के बीच तकरार मनभेद साफ दिख रहा है. इसका असर उत्तर प्रदेश चुनाव पर तो पड़ेगा ही, आने वाले दिनों में बिहार में भी पार्टी पर पड़ सकता है.'-रवि उपाध्याय, वरिष्ठ पत्रकार