शशांक शेखर, अध्यक्ष, बासा पटना: जब से बिहार मद्य निषेध विभाग के प्रधान सचिव केके पाठक के गाली गलौज का वीडियो वायरल हुआ है, बिहार प्रशासनिक सेवा संघ ने उनके खिलाफ मोर्चा खोल दिया है. इसी बीच फिर दूसरा वीडियो भी सामने आया जिसमें वो कॉपरेटिव विभाग के किसी ऑफिसर को बंदर कहते हुए सुने जा सकते हैं. दूसरे वीडियो में भी उन्होंने 1 मिनट के वायरल वीडियो में 22 बार गाली दी है. बिहार के गालीबाज आईएएस केके पाठक से बासा खफा है. उसने केस दर्ज कराने को कहा है.
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केके पाठक पर अनुशासनात्म कार्रवाई की मांग: BASA के अध्यक्ष शशांक शेखर ने प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि केके पाठक के खिलाफ अनुशासनिक कार्रवाई की जाए. इनके ऊपर हम लोगों ने थाना में प्राथमिकी दर्ज करवाई लेकिन कुछ वजहों से दर्ज नहीं हो पाई, हम लोग सोमवार को फिर से प्राथमिकी दर्ज करवाएंगे. हमे भरोसा है कि इन पर कार्रवाई होगी.
''हम लोग पिछले कई दिनों से कह रहे हैं कि केके पाठक के दिमाग में गाली है, मानसिक अशुद्धि है. हम लोगों कल बिहार के सभी पदाधिकारियों ने 3 मिनट का मौन रखकर ईश्वर से प्रार्थना भी किया. दूसरे वीडियो में वो कह रहे हैं कि गाली दिए बिना यहां के लोग काम नहीं करते. यह पूरे बिहार के प्रति गाली है.'' - शशांक शेखर, अध्यक्ष, बासा
शुक्रवार को BASA ने किया था प्रदर्शन: आपको बता दें कि वरिष्ठ आईएएस केके पाठक के बयान के बाद मानसिक शुद्धि को लेकर बिहार प्रशासनिक सेवा संघ ने कल 3 मिनट का मौन भी रखा था कि उनकी मानसिक स्थिति ठीक हो बावजूद इसके एक और वीडियो वायरल हुआ और उसके बाद अब संघ का साफ-साफ कहना है कि किसी ने किसी तरह हम लोग के के पाठक के ऊपर प्राथमिकी दर्ज जरूर करवाएंगे.
सोमवार को फिर दर्ज करवाएंगे शिकायत: आपको बता दें कि इससे पहले ही बासा में बयान जारी कर कहा था कि रविवार को भी बासा कार्यालय के बाहर 'बिहार प्रशासनिक सेवा संघ' के सदस्य अनशन पर बैठेंगे. कुल मिलाकर बिहार प्रशासनिक सेवा संघ अपनी मांग पर अड़ी है. उसका कहना है कि केके पाठक पर जल्द से कार्रवाई किया जाए. सरकार का रवैया हम लोगों के प्रति सकारात्मक है. हमें उम्मीद है कि बिहार सरकार ऐसे पदाधिकारी पर कार्रवाई करेगी. आपको बता दें कि केके पाठक के वीडियो में साफ दिख रहा है कि वह बिहार और बिहारी को लेकर कई तरह की बातें कर रहे हैं.
निलंबन तक बासा का होगा प्रदर्शन: इस बार संघ ने साफ-साफ कहा है कि केके पाठक जिस तरह से बिहारियों को गाली दे रहे हैं, उससे प्रशासनिक सेवा के अधिकारी नहीं बल्कि पूरे बिहार के नागरिक क्षुब्ध हैं. निश्चित तौर पर उन पर कार्रवाई होनी चाहिए. जब तक राज्य सरकार केके पाठक पर कार्रवाई नहीं करेगी बिहार प्रशासनिक सेवा संघ उनके निलंबन की मांग को लेकर प्रदर्शन करता रहेगा.