पटना:कोरोना वायरस से निपटने के लिए पूरे देश में लॉक डाउन है. बिहार में भी लॉक डाउन का व्यापक असर देखा जा रहा है. प्रदेश के सीएम नीतीश कुमार लगातार कोरोना को नियंत्रण में करने के लिए खुद से मामले की मॉनिटरिंग कर रहे हैं. प्रदेश में कोरोना पॉजिटिव मरीजों की संख्या 30 को पार कर चुका है. हालांकि, यह अन्य प्रदेशों की तुलना में काफी कम है. राज्य के अंदर प्रतिदिन 3 की संख्या में कोरोना पॉजिटिव मरीज सामने आ रहे है. जबकि, केवल एक व्यक्ति की इस वायरस के कारण मौत हुई है.
जांच में मात्र 1.5% लोग कोरोना पॉजिटिव पाए गए
कोरोना वायरस से निपटने के लिए केंद्र और राज्य सरकारें लगातार मशक्कत कर रही है. पूरे देश में लॉक डाउन लागू है. बिहार में बड़ी संख्या में बाहर से मजदूर काम कर लौटे हैं. लोगों को इस बात की आशंका थी कि बिहार में कोरोना के मरीजों की संख्या में काफी तेजी से इजाफा होगा. लेकिन हालात कुछ बेहतर दिखाई दे रहे हैं. सरकारी आंकड़ों के मुताबिक औसतन हर रोज 3 कोरोना पॉजिटिव मरीज जांच के बाद सामने आ रहे हैं.
बिहार में कोरोना से एक की हुई थी मौत
बिहार में कोरोना वायरस ने लोगों को डराया जरूर है. लेकिन कोरोना से राज्य में केवल एक व्यक्ति की मौत हुई है. जबकि आधे दर्जन ठीक हो कर घर भी लौटे हैं. कुछ पॉजिटिव मरीजों का अभी भी आइसोलेशन वार्ड में इलाज करवा रहे हैं. जिनकी सेहत में तेजी से सुधार हो रहे हैं. पिछले 1 हफ्ते के दौरान जांच में जितने भी नतीजे सामने आए हैं. वह प्रदेश के लोगों और सरकार के लिए राहत वाली खबर है. अब तक हुए जांच में मात्र 1.5% लोग ही कोरोना पॉजिटिव पाए गए हैं. हालांकि, 2 अप्रैल को बिहार में एक ही दिन में 6 कोरोना पॉजिटिव मरीज पाए गए थे. जिससे लोगों में काफी सहम गए थे. 3 अप्रैल तक बिहार में कुल मिलाकर 19 सौ 73 कोरोना के जांच हुए. जिसमें 19 सौ 40 लोगों की जांच रिपोर्नेट निगेटिव पाए गए. बिहार में अब तक 31 कोरोना पॉजिटिव के मामले हैं. जबकि केवल एक व्यक्ति की मौत हुई है.
तबलीगी मरकज में भाग लेने वाले परेशानी
बता दें कि 29 मार्च तक बिहार में कोरोना पॉजिटिव के 11 मामले सामने आए थे. जो 30 मार्च को बढ़कर 15 हो गया था. 31 मार्च तक आंकड़ा 16 तक पहुंच चुका था. वहीं, अगले 24 घंटे में कोरोना पॉजिटिव के साथ और मरीज मिले और कुल कोरोना पॉजिटिव की संख्या बढ़कर 23 हो गई थी. 2 अप्रैल को 5 और मामले बढ़े जिसके बाद प्रशासन के अंदर हड़कंप मच गया और आंकड़ा 29 तक पहुंच गया. 3 अप्रैल को कोरोना के सिर्फ 2 मामले सामने आए. जिसके बाद सरकार ने रहात की सासं ली. लेकिन, तबलीगी मरकज में बिहार से भाग लेने वाले लोगों ने सरकारी की चिंता जरूर बढ़ाई.