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अब लोगों का जंगल से विवाद होगा खत्म, मिलेगा फायदा: पर्यावरण मंत्री - Minister of Environment, Forest and Climate Change

पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्री नीरज कुमार सिंह इन दिनों इको टूरिज्म को बढ़ावा देने के लिए कैमूर के दौरे पर हैं. कैमूर वन प्रमंडल के वन क्षेत्रों का भ्रमण कर उन्होंने अधिकारियों को इको टूरिज्म का विकास करने का निर्देश दिया.

नीरज सिंह 'बबलू'
नीरज सिंह 'बबलू'

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Published : Sep 9, 2021, 4:07 PM IST

Updated : Sep 9, 2021, 4:34 PM IST

कैमूर (भभुआ): बिहार सरकार में पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्री नीरज कुमार सिंह(Minister Neeraj Kumar Singh) इको टूरिज्म को बढ़ावा देने के लिए 4 दिवसीय दौरे पर हैं. गुरुवार को उन्होंने कैमूर वन प्रमंडल (Kaimur Forest Division) के वन क्षेत्रों का भ्रमण अल्पसंख्यक कल्याण मंत्री जमा खान (Minister Jama Khan) के साथ किया. इस दौरान उन्होंने कहा कि लोगों का जंगल से जो विवाद रहता है, वो खत्म होगा और इससे लोगों को फायदा होगा. हम इको टूरिज्म (Eco Tourism) का विकास करेंगे. अगर कहीं पर केंद्र के मदद की जरूरत होगी, तो वहां से मदद ली जाएगी.

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मंत्री नीरज कुमार सिंह ने विभागीय पदाधिकारियों से वन सुरक्षा, वन विकास एवं इको टूरिज्म से जुड़े मुद्दों पर विचार विमर्श किया. उन्होंने कहा कि कैमूर रोहतास वन प्रमंडल में अनेकों स्थान हैं, जिनके विकास की पूर्ण संभावनाएं हैं. वन क्षेत्रों एवं उनके सन्निकट पड़ने वाले विभिन्न इको टूरिज्म स्थलों को विकास के निर्देश विभागीय अधिकारियों को दिये गये हैं. इस दौरान उन्होंने वन विभाग और ग्रामीणों के बीच रहने वाली तनातनी को समाप्त करने का आश्वासन दिया. उन्होंंने कहा कि आने वाले समय में लोगों का जंगल से जो विवाद रहता है, वो खत्म होगा.

बता दें कि अक्सर ग्रामीणों और वन कर्मियों के बीच सीमा विवाद, जंगल में जानवरों के शिकार करने, लकड़ी काटने समेत कई मामलों में तनाव की स्थिति बनी रहती है. कई बार दोनों पक्षों में मारपीट के मामले भी सामने आते हैं. जिससे आपसी विवाद की स्थिति उत्पन्न हो जाती है.

मंत्री नीरज कुमार सिंह ने मुंडेश्वरी मंदिर एवं उससे जुड़े क्षेत्रों का स्थलीय निरीक्षण किया. उन्होंने मुंडेश्वरी मंदिर के आसपास के वन क्षेत्रों को इको पार्क के रूप में विकसित करने के निर्देश दिए ताकि मंदिर में आने वाले श्रद्धालुओं को आवश्यक टूरिज्म की सुविधाएं उपलब्ध हो सके. उन्होंने वन क्षेत्रों में विभिन्न विकास कार्य को कराने पर भी बल दिया ताकि स्थानीय ग्रामीणों को रोजगार के अवसर उपलब्ध हो सके.

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उन्होंने स्थानीय व्यक्तियों को रोजगार से जोड़ने पर बल दिया और कहा कि दुर्गावती जलाशय के आसपास इको टूरिज्म को बढ़ावा देने की काफी संभावनाएं हैं. पर्यावरणीय पर्यटक के दृष्टिकोण से तेलहार कुंड के सौंदर्यीकरण और पर्यटकों की सुविधा के लिए आधारभूत संरचना का विकास कार्य किया जाएगा. टूरिज्म स्थलों को इको टूरिज्म सर्किल के रूप में जोड़ा जाएगा. ताकि पर्यटकों को समेकित रूप से इको टूरिज्म का अनुभव प्राप्त हो सके.

उल्लेखनीय है कि कैमूर रोहतास वन प्रमंडल के वन क्षेत्र राज्य का बड़ा वन क्षेत्र हैं. ये वन क्षेत्र कैमूर वन्यप्राणी आश्रय के रूप में अधिसूचित हैं. यह वन क्षेत्र पश्चिम में उत्तर प्रदेश एवं दक्षिण में झारखंड से जुड़ा है. इन राज्यों के वन क्षेत्रों को टाइगर रिजर्व घोषित करने का प्रस्ताव भी सरकार के विचाराधीन है.

Last Updated : Sep 9, 2021, 4:34 PM IST

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