जमुई: जिले में छात्रों ने एनआरसी और सीएए के विरोध में प्रदर्शन किया. इस दौरान छत्रों ने हाथ में बैनर और तिरंगा लेकर सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की. प्रदर्शनकारियों ने सरकार से काला कानून वापस लेने और देश को बेरोजगारी से निजात दिलाने की मांग की.
लोकतंत्र को कमजोर करना चाहती है सरकार
छात्रों का यह मार्च शहर के विभिन्न चौक-चौराहे से होते हुए गांधी जी की प्रतिमा पर माल्यार्पण के साथ खत्म हुआ. इसके बाद उन्होंने सरकार पर लोकतंत्र की आत्मा को ठेस पहुंचाने का आरोप लगाया. छात्रों का कहना है कि सरकार लोकतंत्र को कमजोर करना चाहती है.
'लोगों को भ्रमित कर रही है बीजेपी'
ईटीवी भारत से बात करते हुए छात्र ने कहा कि सरकार युवा को सड़क पर उतरने के लिए मजबूर कर रही है. उन्होंने कहा कि काला कानून लाकर बीजेपी की सरकार लोगों को भ्रमित कर रही है. युवाओं को रोजगार मिलनी चाहिए, देश से बेरोजगारी दूर होनी चाहिए. लेकिन वैसा नहीं कर रही है. सरकार छात्रों पर भी अत्याचार कर रही है.
सीएए के विरोध में सड़क पर उतरे छात्र सीएए के तहत दी जाएगी नागरिकता
बता दें कि सीएए के तहत यह व्यवस्था की गई है कि पाकिस्तान, अफगानिस्तान और बांग्लादेश में धार्मिक उत्पीड़न के कारण वहां से भागकर आए हिंदू, ईसाई, सिख, पारसी, जैन और बौद्ध धर्म को मानने वाले लोगों को भारत की नागरिकता दी जाएगी.