अररिया:एनआईओएस से डीएलएड उत्तीर्ण शिक्षक अब एकजुट हो गए हैं, और बिहार सरकार के खिलाफ सड़कों पर आंदोलन कर रहे हैं. इस बाबत अररिया में एनआईओएस डीएलएड अभ्यर्थियों ने नीतीश कुमार और शिक्षा मंत्री का पुतला फूंका.
अररिया: डीएलएड अभ्यर्थियों ने नीतीश कुमार का फूंका पुतला, कहा- सौतेला व्यवहार कर रही है बिहार सरकार - एचआरडी मंत्रालय
अभ्यर्थियों ने बताया कि भारत सरकार के एचआरडी मंत्रालय के आदेश पर एनआईओएस से डिग्री मिली है. यह मार्कशीट पूरे देश में शिक्षकों की बहाली के लिए मान्य है, लेकिन बिहार सरकार उनके साथ सौतेला व्यवहार कर रही है. उनलोगों को बिहार में बहाली से वंचित कर दिया गया है.
अररिया में डीएलएड अभ्यर्थियों की बैठक
अररिया के आजाद एकेडमी प्रांगण में एनआईओएस डीएलएड अभ्यर्थियों की एक बैठक बुलाई गई, जिसमें सैकड़ों प्रशिक्षित अभ्यर्थियों ने हिस्सा लिया. अभ्यर्थियों का कहना है कि सरकार उनके साथ दोहरी नीति अपना रही है. उन्हें भारत सरकार के एचआरडी मंत्रालय के आदेश पर एनआईओएस से डिग्री मिली है. 31 मार्च 2019 से पहले तमाम लोगों को प्रशिक्षित कर देना था. इसी कारण एचआरडी के आदेश पर एनआईओएस ने स्पेशल कोर्स 18 महीने में कराकर 2 साल की वैद्यता वाली मार्कशीट दी. यह मार्कशीट पूरे देश में शिक्षकों की बहाली के लिए मान्य है.
बिहार सरकार कर रही सौतेला व्यवहार
अभ्यर्थियों ने कहा कि इस बाबत बिहार में उनकी डिग्री को 18 महीने का बताकर बहाली से वंचित कर दिया है. अभ्यर्थयों ने बताया कि नियम के अनुसार 4 सेमेस्टर में उनका एग्जाम हुआ था. उनका कहना है कि जब एचआरडी मंत्रालय के आदेश पर 24 महीने के कोर्स को 18 महीने में पूरा किया गया, तो बिहार सरकार इसे अमान्य क्यों बता रही है.