पटना:बिहार सरकार (Bihar Government) लगातार बिजली के क्षेत्र में एक से बढ़कर एक काम करने में जुटी हुई है. इसी कड़ी में बिहार भी सौर ऊर्जा (Solar Energy) के क्षेत्र में अपने कदम बढ़ा रहा है और अगले साल से बिहार में सौर ऊर्जा के माध्यम से 250 मेगावाट बिजली का उत्पादन किए जाने की परियोजना की रणनीति बना ली गई है. सरकार की इस पहल से बिहार के नवीनीकरण का संरक्षण होगा. वहीं, इस परियोजना से कई लोगों को रोजगार भी उपलब्ध हो पाएगा. आने वाले दिनों में सोलर लाइट से बिहार जगमगाएगा.
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ईटीवी भारत से बातचीत के दौरान ब्रेडा डायरेक्टर आलोक कुमार ने बताया कि राज्य सरकार की इस परियोजना के माध्यम से बिहार के लगभग 2000 लोगों को प्रत्यक्ष अप्रत्यक्ष रूप से रोजगार उपलब्ध हो पाएगा. इस परियोजना के लिए कंपनी का चयन भी कर लिया है. उन्होंने बताया कि ग्राउंड माउंटेन लेवल सोलर प्लांट बिहार के किसी कोने में लगाने के लिए एजेंसी स्वतंत्र है. अभी जगह निर्धारित नहीं हो पाई है.
उन्होंने बताया कि कई एजेंसियों ने दिलचस्पी दिखाई थी, लेकिन जो एजेंसी की रेट कम रही है उस पर मुहर लग गई है. 250 मेगावाट सोलर बिजली उत्पादन के लिए निर्माण का काम जल्द शुरू कर दिया जाएगा. एजेंसी का प्रस्ताव बिहार विद्युत विनियामक आयोग को भेज दिया गया है. आयोग की मंजूरी के बाद प्लांट लगाने की प्रक्रिया की शुरुआत हो जाएगी.
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''1250 करोड़ की लागत से लग रहे सोलर प्लांट से 250 मेगावाट बिजली उत्पादन होगी, जिससे बिहार के कई लोगों को रोजगार मिलेगा. जहां भी प्लांट लगेगा, वहां इंस्टॉलेशन के समय मेन पावर की जरूरत पड़ेगी. मेंटेनेंस विधि में भी मेन पावर की जरूरत पड़ेगी और इस प्लांट की लाइफ करीब 25 साल होगी. इस प्लांट से लोगों को साल 2 साल के लिए नौकरी नहीं, बल्कि 25 सालों के लिए रोजगार मिलेगा. बिहार के परिपेक्ष्य में देखा जाए तो सस्ती बिजली भी मिलेगी.''-आलोक कुमार, ब्रेडा डायरेक्टर
वहीं, उनसे जब हमने सवाल किया कि इस तरह की और भी परियोजनाओं को आने वाले दिनों में धरातल पर उतारने की कोशिश की जाएगी. जिस पर उन्होंने बताया कि अभी 250 मेगा वाट सोलर प्लांट लगाने का सरकार का अप्रूवल है. नवंबर के अंतिम समय में इंस्टॉलेशन को लेकर के पूरी प्रक्रिया हो जाएगी. उसके बाद इस तरह की और परियोजनाओं को लेकर सरकार के समक्ष रखा जाएगा और अप्रूवल लिया जाएगा. उन्होंने बताया कि कंपनियों को हर उचित सुविधा मुहैया कराने के लिए सरकार प्रतिबद्ध है. इसके माध्यम से आगामी वर्ष में सोलर उत्पादन संभव हो जाएगा.
बता दें कि आयोग की मंजूरी इस माह के अंत तक मिल जाएगी. उसके बाद राज्य में सोलर बिजली लगाने की कार्रवाई शुरू की जाएगी. उसके बाद एजेंसी अपने हिसाब से स्थानों का चयन करेगी और लगभग एक से डेढ़ साल के अंदर बिजली उत्पादन शुरू हो जाएगा. इसके साथ ही आपको बता दें कि चयनित कंपनी बिजली उत्पादन को साउथ बिहार और नॉर्थ बिहार डिस्ट्रीब्यूशन कंपनी को उत्पादन बिजली देने का काम करेगी.
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