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DRDO ने पूरा किया गाइडेड पिनाका हथियार प्रणाली का सफल उड़ान परीक्षण

DRDO ने गाइडेड पिनाका हथियार प्रणाली का फ्लाइट टेस्ट किया. उड़ान परीक्षण विभिन्न फील्ड फायरिंग रेंजों में तीन चरणों में आयोजित किए गए हैं.

Guided Pinaka Weapon System
गाइडेड पिनाका हथियार प्रणाली (फोटो - X/@DRDO_India)

By ETV Bharat Tech Team

Published : 4 hours ago

नई दिल्ली: रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (डीआरडीओ) ने प्रोविजनल स्टाफ क्वालिटेटिव रिक्वायरमेंट्स (पीएसक्यूआर) वैलिडेशन ट्रायल के हिस्से के रूप में गाइडेड पिनाका हथियार प्रणाली के फ्लाइट परीक्षणों को सफलतापूर्वक पूरा कर लिया है. इस विकास की जानकारी रक्षा मंत्रालय की ओर से गुरुवार को जारी की गई.

जानकारी के अनुसार फ्लाइट परीक्षण तीन चरणों में विभिन्न फील्ड फायरिंग रेंजों में किए गए हैं. इन परीक्षणों के दौरान, रॉकेटों के व्यापक परीक्षण द्वारा पीएसक्यूआर मापदंडों जैसे कि रेंजिंग, सटीकता, स्थिरता और सैल्वो मोड में कई लक्ष्यों को निशाना बनाने की दर का मूल्यांकन किया गया है. मंत्रालय द्वारा बयान में कहा गया कि लॉन्चर उत्पादन एजेंसियों द्वारा अपग्रेड किए गए दो इन-सर्विस पिनाका लॉन्चरों से प्रत्येक उत्पादन एजेंसी के बारह रॉकेटों का परीक्षण किया गया है.

मंत्रालय द्वारा जारी बयान में कहा गया कि पिनाका मल्टीपल लॉन्च रॉकेट सिस्टम के लिए सटीक हमला करने वाला संस्करण पूरी तरह से स्वदेशी हथियार प्रणाली है, जिसे आर्मामेंट रिसर्च एंड डेवलपमेंट एस्टेब्लिशमेंट द्वारा रिसर्च सेंटर इमारत, रक्षा अनुसंधान और विकास प्रयोगशाला, उच्च ऊर्जा सामग्री अनुसंधान प्रयोगशाला और प्रूफ एंड एक्सपेरीमेंटल एस्टेब्लिशमेंट के सहयोग से डिजाइन और विकसित किया गया है.

मंत्रालय ने कहा कि इसमें गोला-बारूद के लिए म्यूनिशंस इंडिया लिमिटेड और इकोनॉमिक एक्सप्लोसिव्स लिमिटेड और पिनाका लॉन्चर और बैटरी कमांड पोस्ट के लिए टाटा एडवांस्ड सिस्टम्स लिमिटेड और लार्सन एंड टूब्रो शामिल हैं. रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने प्रणाली के सफल पीएसक्यूआर सत्यापन परीक्षणों के लिए डीआरडीओ और भारतीय सेना को बधाई दी है. उन्होंने कहा कि इस गाइडेड पिनाका हथियार प्रणाली को शामिल करने से सशस्त्र बलों की तोपखाने की मारक क्षमता को और बढ़ावा मिलेगा.

बयान के अनुसार, रक्षा अनुसंधान एवं विकास विभाग के सचिव और डीआरडीओ के अध्यक्ष डॉ. समीर वी. कामत ने भी परीक्षणों से जुड़ी टीमों को बधाई दी और कहा कि रॉकेट प्रणाली ने भारतीय सेना में शामिल होने से पहले सभी पूर्व-आवश्यक उड़ान परीक्षण पूरे कर लिए हैं.

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