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जनप्रतिनिधियों की शिकायतों पर योगी सरकार और संगठन गम्भीर, बनाई ये नई रणनीति - BJP Organization

बीजेपी के राष्ट्रीय महामंत्री संगठन बीएल संतोष ने चुनाव में हार की समीक्षा के बाद रणनीति बनाई है. अब जनप्रतिनिधियों की शिकायतें और समस्याओं का प्राथमकिता दी जाएगी.

बीजेपी के राष्ट्रीय महामंत्री संगठन बीएल संतोष ने जनप्रतिनिधियों से लिया था फीडबैक.
बीजेपी के राष्ट्रीय महामंत्री संगठन बीएल संतोष ने जनप्रतिनिधियों से लिया था फीडबैक. (Etv Bharat)

By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : Jul 10, 2024, 6:50 PM IST

भाजपा संगठन ने बनाई नई रणनीति. (Video Credit; ETV BHARAT)

लखनऊ: लोकसभा चुनाव में अपेक्षाकृत सफलता नहीं मिल पाने के बाद अब योगी सरकार और संगठन में बेहतर समन्वय बनाने की कवायद लखनऊ से लेकर दिल्ली तक चल रही है. सरकार और संगठन जनप्रतिनिधियों की शिकायतों और जनता से जुड़ी समस्याओं के निस्तारण को लेकर गंभीर हो चुकी है. जिसके लिए अब नई कार्य योजना बनाकर भारतीय जनता पार्टी जनप्रतिनिधियों के सहारे आगामी चुनाव की तैयारी तेज कर दी है. अब तय किया गया है कि जनप्रनिधियों की तरफ से आने वाले शिकायती पत्रों और उनके क्षेत्र के लोगों की मांग पत्रों व अन्य सुझाव पत्रों को सरकार तक भेजा जाएगा. साथ ही संगठन के माध्यम से शिकायतों का निस्तारण और सारा कुछ हिसाब किताब रखा जाएगा. जिससे कहां किस क्षेत्र में कौन सी बड़ी समस्या का निस्तारण नहीं हो पाया है. क्षेत्र के स्तर पर मॉनिटरिंग कराई जाएगी. सरकार के स्तर पर भी की एक मॉनिटरिंग सेल बनाई जा रही है. जिससे जहां जो कमियां रह जाती हैं, उन्हें दूर कराने में सरकार तेजी लाएगी.


राष्ट्रीय महामंत्री की समीक्षा बैठक में लिया गया निर्णय
बीजेपी के राष्ट्रीय महामंत्री संगठन बीएल संतोष पिछले दिनों दौरे पर राजधानी लखनऊ आए थे. इस दौरान बीजेपी के क्षेत्रीय अध्यक्षों व पदाधिकारी के साथ कई स्तर पर समीक्षा बैठक की. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ दोनों उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य, ब्रजेश पाठक, प्रदेश अध्यक्ष भूपेंद्र सिंह चौधरी, महामंत्री संगठन धर्मपाल सिंह सहित अन्य वरिष्ठ नेताओं के साथ बातचीत की. बातचीत और समीक्षा के दौरान यह फीडबैक मिला कि तमाम स्तर पर जनप्रतिनिधियों की समस्याओं को लेकर अधिकारी ध्यान नहीं देते हैं. उनका निस्तारण समयबद्ध तरीके से नहीं हो पाता है. कुछ जनप्रतिनिधियों ने यहां तक कहा कि उनके शिकायती पत्रों या समस्याओं से संबंधित जो शासन को पत्र भेजे जाते हैं, उन पर अमल नहीं होता. ऐसे पत्रों को डस्टबिन में डाल दिया जाता है. इससे जब जनता की समस्याओं का निस्तारण नहीं होगा तो स्वाभाविक रूप से लोग बीजेपी से दूर होंगे.

भाजपा संगठन शिकायतों की करेगी निगरानी
ऐसे तमाम स्तर पर मिले फीडबैक के आधार पर भाजपा नेतृत्व ने यह तय किया है कि जनप्रतिनिधियों की शिकायती पत्रों का निस्तारण सरकार और संगठन के स्तर पर गंभीरता से कराया जाएगा. इसके लिए एक नई कार्य योजना भी तैयार की गई है और इसको लेकर दिशा निर्देश दिए गए हैं. कहा गया है कि पार्टी के जितने भी जनप्रतिनिधि हैं, वह शासन या मुख्यमंत्री के स्तर पर जो भी पत्र भेजे जाएंगे, उनकी मॉनिटरिंग शासन स्तर पर तो कराई ही जाएगी. साथ ही साथ संगठन के क्षेत्रीय स्तर पर भी किस पत्र पर क्या कार्यवाही हो रही है इसकी भी पड़ताल होती रहेगी. रेंडम चेकिंग के आधार पर जनप्रतिनिधियों की शिकायती पत्रों के निस्तारण की प्रगति परखी जाएगी.

सीएम ने शिकायतों के निस्तारण का दे चुके हैं निर्देश

मुख्यमंत्री ने भी शासन के वरिष्ठ अधिकारियों के अलावा चीफ सेक्रेटरी कार्यालय को भी यह दिशा निर्देश दिए हैं कि पार्टी के विधायक सांसद मंत्रियों की शिकायती पत्रों का निस्तारण निचले स्तर तक बेहतर तरीके से हो और इसको लेकर के सेक्रेटरी कार्यालय में एक मॉनिटरिंग सेल भी बनाने की प्रक्रिया शुरू की जा रही है. जिससे जो कमियां रह गई है उन्हें दूर कर भाजपा अपनी अगली रणनीति पर आगे बढ़ सके.

भाजपा के प्रत्याशियों को हो गया था अहंकार
भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश प्रवक्ता जुगल किशोर कहते हैं कि भाजपा सरकार और संगठन के स्तर पर जनप्रतिनिधियों की समस्याओं के निस्तारण को लेकर शुरू से गंभीर रही है. कुछ स्तर पर कुछ कमियां जरूर रह गई होगी, जिसकी वजह से नुकसान उठाना पड़ा है. भाजपा के तमाम प्रत्याशियों में अहंकार आ गया था, जनता के बीच उनकी नाराजगी थी. इस वजह से भी चुनाव में हार हुई है. तमाम प्रत्याशी सिर्फ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के चेहरे के आधार पर चुनाव लड़ रहे थे. जमीनी हकीकत और उनके खिलाफ नाराजगी से नुकसान हुआ है. भारतीय जनता पार्टी सभी जनप्रतिनिधियों की समस्याओं और जनता की शिकायतों को लेकर गंभीर है और इस दिशा में पार्टी लगातार काम कर रही है. पार्टी के राष्ट्रीय महामंत्री संगठन संतोष पिछले दिनों लखनऊ प्रवास पर आए थे और उन्होंने सबसे फीडबैक लिया है और उसे आधार पर आगे की रणनीति तैयार की गई है और उसे पर काम शुरू किया गया है.

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