कानपुर: गोपाष्टमी के पावन पर्व पर शहर के कई अलग-अलग जगह पर विधि विधान से गो माता की पूजा अर्चना की गई. बिठूर स्थित इस्कॉन मंदिर में भी गोपाष्टमी के पावन पर्व पर भव्य आयोजन किया गया. यहां सैकड़ो की संख्या में पहुंचे भक्तों ने इस्कॉन कानपुर गौशाला में गायों की विधि-विधान से पूजा अर्चना कर गो माता का आशीर्वाद लिया. वही पूरा मंदिर प्रंगरण हरे रामा हरे कृष्णा की गूंज से मत्रं मुग्ध हो उठा. गोपाष्टमी के पर्व काफी विशेष महत्व है कहा जाता है कि इसी दिन भगवान श्री कृष्णा और भगवान श्री बलराम ने गौचारण आरंभ किया था इससे पहले उन्हें सिर्फ बछड़ो को ही साथ ले जाने की अनुमति थी.
ये है मान्यता हैः ब्रह्मा जी के द्वारा ब्रह्म संहिता में बताया गया है कि भगवान श्री कृष्ण को गोवंश काफी ज्यादा प्रिय थे इसलिए उन्हें गोपाल नाम से भी पुकारा जाता है. भगवान श्री कृष्ण को गायों के साथ रहना काफी ज्यादा प्रिया था वही गए भी भगवान कृष्ण के साथ रहना काफी ज्यादा पसंद करती थी और जब भगवान कृष्ण उनके पास रहते थे तो वह काफी ज्यादा खुश रहती थी. भगवान श्री कृष्ण ने तो खुद एक उदाहरण प्रस्तुत करते हुए बताया है कि आखिर कैसे गो माता की रक्षा करनी चाहिए कई बार तो वह खुद ही ग्वाल का स्वरूप धारण कर लेते थे. ऐसी मान्यता है कि गोपाष्टमी पर गो माता की विधि विधान से पूजा अर्चना करने से सुख समृद्धि की प्राप्ति होती है.
कानपुर इस्कॉन मंदिर में गोपाष्टमी पर गो माता की पूजा, हरी संकीर्तन पर झूमे भक्त - GOPASHTAMI 2024
Kanpur Iskon Temple: कानपुर में विधि विधान के साथ किया गया गो माता का पूजन-अर्चन. कानपुर गोशाला में गो माता को अर्पित किया गया भोग.
By ETV Bharat Uttar Pradesh Team
Published : Nov 10, 2024, 11:25 AM IST
इस्कॉन में विधि-विधान से पूजन: शहर के मैनावती मार्ग स्थित इस्कॉन मंदिर में शनिवार को गोपाष्टमी के पावन पर्व पर पूरे मंदिर प्रांगण को भव्य रूप से सजाया गया. सुबह 8:00 बजे इस्कॉन कानपुर गोशाला में अद्भुत गोपूजन की शुरुआत की गई. सैकड़ो की संख्या में मौजूद भक्तों के द्वारा भक्ति वैभव गौशाला उन्नाव में महायज्ञ एवं अलौकिक गौ पूजन आयोजित किया गया. वहीं, गायों का सुंदर श्रृंगार किया गया. इस दौरान हरे कृष्णा हरे रामा महामंत्र संकीर्तन में सभी जमकर झूमे. अंत में सभी को प्रसाद वितरित किया गया.