रांची: पिछले तीन दिनों से झारखंड के ज्यादातर इलाकों में हो रही बारिश से जनजीवन बुरी तरह प्रभावित हुआ है. ज्यादातर नदियां उफान पर हैं. डैम लबालब हो गए हैं. खरकई और स्वर्ण रेखा नदी का जलस्तर लगातार बढ़ रहा है. लिहाजा, जमशेदपुर के आसपास तटीय क्षेत्रों में रहने वाले लोगों की सुरक्षा को देखते हुए स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता ने पूर्वी सिंहभूम के उपायुक्त को सतर्कता बरतने को कहा है. उन्होंने प्रभावित लोगों को सुरक्षित स्थानों पर शिफ्ट करने के साथ-साथ बुनियादी सुविधाएं सुनिश्चित कराने को कहा है. तटीय इलाकों में रहने वाले लोगों से भी सतर्क रहने का आग्रह किया है.
तेज बारिश ने रांची में भी जनजीवन को प्रभावित किया है. लगातार हो रही है बारिश की वजह से कांके डैम, हटिया डैम और गेतलसूद डैम के जल स्तर में इजाफा हुआ है. कांके डैम का तीन फाटक खोला गया है. दशम फॉल, हुंडरू फॉल और जोन्हा फॉल के निचले इलाकों में लोगों के जाने पर रोक लगा दी गई है. रांची के कई निचले इलाकों में जल जमाव से लोग परेशान हैं.
पुरुलिया के ऊपर बना है डीप डिप्रेशन
दरअसल, साइक्लोनिक सर्कुलेशन के कारण बांग्लादेश और पश्चिम बंगाल पर बना डीप डिप्रेशन अब झारखंड के काफी करीब पहुंच गया है. मौसम विज्ञान केंद्र, रांची के निदेशक के अनुसार डीप डिप्रेशन का यह सिस्टम झारखंड की सीमा पर पुरुलिया के ऊपर बना है. इसके प्रभाव से आज यानी 16 सितंबर को सुबह से ही पूरे राज्य में बारिश हो रही है. इस सिस्टम के प्रभाव से आज रात भी पूरे राज्य में बारिश की संभावना है.
बारिश को लेकर अलर्ट
झारखंड के उत्तर-पश्चिम, दक्षिणी और पश्चिमी हिस्से में कुछ जगहों पर भारी से बहुत भारी बारिश को लेकर रेड अलर्ट जारी किया गया है. कल यानी 17 सितंबर को राज्य के गढ़वा, पलामू, लातेहार और सिमडेगा जिले में भारी से बहुत भारी बारिश को लेकर ऑरेंज अलर्ट जारी किया गया है. वहीं गुमला, लोहरदगा, खूंटी, चतरा, रांची, बोकारो, हजारीबाग, गिरिडीह, कोडरमा, पूर्वी सिंहभूम में भारी बारिश को लेकर येलो अलर्ट जारी किया गया है.
लोगों को सतर्क रहने की सलाह
मौसम विज्ञान केंद्र रांची के निदेशक अभिषेक आनंद ने वीडियो क्लिपिंग जारी कर लोगों से भारी बारिश को लेकर सतर्क और सावधान रहने को कहा है. क्योंकि इस दौरान 40 से 50 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से हवा के झोंके भी चल सकते हैं. अभिषेक आनंद ने भारी से बहुत भारी बारिश वाले जिलों के लोगों को सलाह दी है कि वे मौसम साफ होने पर या बहुत जरूरी होने पर ही घर से बाहर निकलें, जल स्रोतों के पास न जाएं, पेड़ों के नीचे या कमजोर घरों के पास न रहें.
टंडवा में हुई सबसे ज्यादा बारिश