जबलपुर।मध्यप्रदेश हाईकोर्ट जस्टिस संजय द्विवेदी की एकलपीठ ने नेपानगर की पूर्व विधायक सुमित्रा देवी कास्डेकर के खिलाफ जेएमएफसी कोर्ट बुरहानपुर की अदालत में लंबित परिवाद को निरस्त कर दिया है. हाईकोर्ट ने अपने आदेश में कहा है कि जेएमएफसी कोर्ट को इस परिवाद को सुनने का अधिकार नहीं है. कोर्ट ने शिकायतकर्ता को स्वतंत्रता दी है कि वह संबंधित विशेष अदालत में परिवाद दायर कर सकता है..
बुरहानपुर कोर्ट ने दिए थे एफआईआर के निर्देश
पूर्व विधायक सुमित्रा देवी के खिलाफ बालचंद शिंदे ने जेएमएफसी कोर्ट बुरहानपुर में परिवाद दायर कर शिकायत की थी. इसमें कहा गया है कि चुनावी हलफनामे में गलत जन्म प्रमाण पेश किया गया था. जेएमएफसी कोर्ट ने शिकायत पर संज्ञान लेते हुए एफआईआर दर्ज करने के निर्देश दिए. इसके बाद पुलिस ने चालान भी पेश कर दिया. वहीं, हाईकोर्ट में याचिकाकर्ता की ओर से वरिष्ठ अधिवक्ता मनीष दत्त ने पक्ष रखते हुए दलील दी कि याचिकाकर्ता विधायक थी और बुरहानपुर की जेएमएफसी कोर्ट को यह मामला सुनने का अधिकार नहीं है. याचिका में ये भी कहा गया कि इस तरह के मामलों की सुनवाई के लिए भोपाल और इंदौर में स्पेशल एमपी-एमएलए कोर्ट हैं.
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