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जेल में मारपीट और प्रताड़ना को लेकर तत्कालीन जेल अधीक्षक पर कार्रवाई की सिफारिश - HUMAN RIGHTS COMMISSION

जेल में मारपीट और प्रताड़ना को लेकर तत्कालीन जेल अधीक्षक पर कार्रवाई की सिफारिश. जानिए पूरा मामला...

Rajasthan Human Rights Commission
जेल अधीक्षक पर कार्रवाई की सिफारिश (ETV Bharat Jaipur)

By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : Feb 6, 2025, 10:11 PM IST

जयपुर: राज्य मानवाधिकार आयोग ने अजमेर में केन्द्रीय कारागार में कैदी से मारपीट और उसके साथ प्रताड़ना करने वाले तत्कालीन जेल अधीक्षक संजय यादव और प्रहरी दिनेश, सुनील, विक्रम, धर्मेन्द्र, शिशुपाल, अजीत और उम्मेद सिंह के खिलाफ विभागीय कार्रवाई करने की सिफारिश की है. इसके साथ ही आयोग ने बंदी मुकेश के मानवाधिकार हनन होने पर उसे पचास हजार रुपए व दो अन्य कैदी करण और श्याम लाल को 25 हजार रुपए अदा करने को कहा है.

आयोग ने यह आदेश दोषी अधिकारियों से वसूलने की छूट दी है. आयोग सदस्य जस्टिस रामचन्द्र सिंह झाला ने यह आदेश किरण शेखावत के परिवाद पर सुनवाई करते हुए दिए. आयोग ने अपने आदेश में कहा कि किसी भी व्यक्ति के जेल में बंद रहने के आधार पर उसके मानवाधिकार समाप्त नहीं होते हैं. यह राज्य सरकार का दायित्व है कि वह जेल में बंद व्यक्ति के मानवाधिकारों की रक्षा करे.

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परिवाद में कहा गया कि उसका पति मुकेश हत्या के प्रयास में अजमेर जेल में बंद है. जेल परिसर में अप्रैल, 2017 को बैरक तलाशी में मुकेश के पास कुछ नहीं मिला. इसके बावजूद भी जेलकर्मियों ने उसके साथ बुरी तरह मारपीट की और बदले में रुपए मांगे गए. परिवाद में जेल में सुविधाएं उपलब्ध कराने के बदल रुपए लेने की जानकारी दी गई. जिस पर आयोग ने पूर्व में प्रसंज्ञान लेकर रिपोर्ट तलब की थी. इसके साथ ही अदालत में पेश दो रिपोर्ट में विरोधाभास होने पर अदालत ने उच्चाधिकारियों से तीसरी रिपोर्ट तलब की, जिसमें कैदी के साथ मारपीट की बात कही गई.

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