रायसेन: लक्ष्य अगर बड़ा हो, तो कद मायने नहीं रखता. ये शब्द रायसेन जिले के युवा विवेक भदौरिया पर एकदम फिट बैठता है. विवेक भारतीय सेना में जाना चाहते थे, लेकिन मानक के अनुसार लंबाई कम होने की वजह से उन्हें सेना में भर्ती होने का मौका नहीं मिला. पर विवेक के मन में देश सेवा और देश का नाम रोशन करने का जुनून था. जिसने उनको उन चंद लोगों में शामिल कर दिया जो बिना रुके लगातार 70 किलोमीटर दौड़ सकते हैं. विवेक ने ये कारनामा कई बार कर दिखाया है. अब वह अल्ट्रा रनर की तैयारी में लगे हैं.
आर्मी में भर्ती होना था सपना
रायसेन के देवरी तहसील के छोटे से गांव खेर पिपरिया निवासी विवेक भदौरिया सेना में भर्ती होना चाहते थे. जिसके लिए वे रोज 5 से 10 किलोमीटर रनिंग करते थे, लेकिन अब वे बिना रुके 70 किलोमीटर की रनिंग करने लगे हैं. विवेक का लक्ष्य देश के सबसे लंबी दूरी का धावक बनना है. बेहद गरीब परिवार से आने वाले विवेक 2022 में स्टेडियम की मांग लेकर अपने गांव से बरेली एसडीएम के दफ्तर तक 65 किलोमीटर दौड़ते हुए पहुंचे थे. वे देशभर में होने वाली कई मैराथन में हिस्सा ले चुके हैं.
आर्मी में भर्ती होना चाहते थे विवेक भदौरिया (ETV Bharat) मंत्री प्रहलाद पटेल उठा रहे हैं तैयारी का खर्च
विवेक भदौरिया बताते हैं कि "जब देश में कोरोना का संकट आया था, तब वह आर्मी की तैयारी कर रहे थे. ताकि वह सेना में भर्ती हो सके और अपने परिवार को गरीबी से बाहर निकाल सकें. पर उनकी लंबाई आर्मी के मापदंडों के अनुसार न होने के चलते उनको सेलेक्ट नहीं किया गया." विवेक कहते हैं कि वे दौड़ने के बाद 80 से 90 किलोमीटर तक साइकिल चला लेते हैं और डेढ़ से 2 किलोमीटर तक तैराकी भी कर लेते हैं.
तैयारी का पूरा खर्च उठा रहे हैं प्रहालाद पटेल (ETV Bharat) विवेक के इस हुनर से प्रभावित होकर पंचायत और ग्रामीण विकास मंत्री प्रहलाद पटेल ने विवेक को भोपाल स्थित अपने आवास पर रहने के लिए बुला लिया और तैयारी का पूरा खर्च उठा रहे हैं. विवेक अल्ट्रा रनर बनना चाहते हैं इसके लिए वे बरकतुल्लाह यूनिवर्सिटी के ग्राउंड में प्रैक्टिस कर रहे हैं.
बिना रुके 3 घंटे दौड़े थे विवेक
बेंगलुरु में हाई अल्ट्रा मैराथन में लगातार 100 किलोमीटर की दौड़ में हिस्सा लेकर सफलतापूर्वक इसे पूरा करने के साथ ही विवेक ने इंदौर में तिरंगा स्टेडियम रन के लिए लगातार 3 घंटे दौड़ लगाई थी. बरमान से गोटेगांव तक लगातार 70 किलोमीटर की दौड़ उन्होंने बिना रुके पूरी की थी. प्रैक्टिस के दौरान वह कई क्षेत्रों में 50 से 60 किलोमीटर की दूरी बिना रुके तय करते रहते हैं.