पन्ना में लू की चपेट में आए भगवान जगन्नाथ, स्पेशल ट्रीटमेंट शुरू, 15 दिन बंद रहे मंदिर के कपाट - Panna Lord Jagannath Rath yatra
मध्यप्रदेश के पन्ना स्थित जुगल किशोर मंदिर में भगवान जगन्नाथ का उपचार शुरू कर दिया गया है. दरअसल, भगवान जगन्नाथ को लू लग गई है. इस कारण मंदिर के कपाट 15 दिन बंद रहेंगे. क्या है मंदिर की पुरानी परंपरा, आइए जानते हैं...
पन्ना में लू की चपेट में आए भगवान जगन्नाथ स्पेशल ट्रीटमेंट शुरू (ETV BHARAT)
पन्ना।विश्व की दूसरी सबसे बड़ी भगवान जगन्नाथ स्वामी की रथयात्रा पन्ना में सैकड़ों सालों से निकल रही है. ऐतिहासिक परंपरा एवं मान्यताएं करीब 180 वर्षों से निभाई जा रही हैं. इसके अनुसार भगवान भी बीमार पड़ते हैं और 15 दिन तक मंदिर के कपाट बंद रहते हैं. 15 दिन तक उनका आयुर्वेदिक एवं औषधीय से इलाज किया जाता है. इस दौरान भक्त अपने भगवान के दर्शन लाभ से वंचित रहेंगे.
भगवान जगन्नाथ स्वामी की रथ यात्रा का प्रथम चरण शुरू (ETV BHARAT)
पुरी की तर्ज पर निकलती है भगवान जगन्नाथ की यात्रा
हीरों, वीरों, झीलों, मंदिरों और बाघों के लिए विश्व विख्यात पवित्र नगरी पन्ना में सभी धार्मिक त्योहारों का आयोजन अनोखे और अद्भुत अंदाज में होता है. बात जब भगवान जगन्नाथ स्वामी के रथ यात्रा महोत्सव की आती है तो यहां भी उड़ासा के पुरी की तर्ज पर मनाया जाता है, जिसका शनिवार को स्नान यात्रा के साथ आगाज हो चुका है. 15 दिन बाद रथ यात्रा महोत्सव का कार्यक्रम होगा. 22 जून 2024 को भगवान बीमार पड़ गए, जिनके स्नान यात्रा के बाद मंदिर के कपाट बंद कर दिए गए हैं. जो आज से ठीक 15 दिनों बाद खोले जाएंगे.
मध्यप्रदेश के पन्ना स्थित जुगल किशोर के मंदिर में भक्त (ETV BHARAT)
परंपरा के तहत भगवान जगन्नाथ का उपचार शुरू (ETV BHARAT)
मध्यप्रदेश के पन्ना स्थित जुगल किशोर का मंदिर (ETV BHARAT)
मंदिर के कपाट खुलने तक भगवान को मूंग की दाल के पानी का सेवन करवाया जाएगा. 7 जुलाई 2024 को पुरी की तर्ज पर भगवान जगन्नाथ का भव्य रथ यात्रा महोत्सव का आयोजन होगा. स्नान यात्रा के दुर्लभ दर्शन के लिए लगभग 200 वर्ष पूर्व निर्मित ऐतिहासिक मंदिर में हजारों भक्तों की भीड़ उमड़ पड़ी. बता दें कि लगभग 200 वर्ष पूर्व पन्ना के तत्कालीन महाराजा किशोर सिंह जूदेव द्वारा इस भव्य मंदिर का निर्माण करवाया गया था. तभी से पुरी की तर्ज पर यह परंपरा पन्ना में भी निरंतर चली आ रही है. आज के कार्यक्रम में मंदिर के पुजारियों, राज परिवार के सदस्यों, गणमान्य नागरिकों, अधिकारी जनप्रतिनिधियों सहित हजारों की संख्या में भगवान जगन्नाथ के भक्त उपस्थित रहे.