रांची: लोकसभा आम चुनाव जैसे जैसे नजदीक आ रहे हैं. झारखंड की राजनीति में भी वोटों की गोलबंदी के लिए राजनीतिक दलों की बयानबाजी तेज हो गयी है. झारखंड भारतीय जनता पार्टी ने फिर एक बार संथाल परगना के कई जिलों में बांग्लादेशी घुसपैठियों की वजह से डेमोग्राफी चेंज होने, चुनावी नतीजे तक प्रभावित होने का आरोप लगाया है. इसको लेकर निर्वाचन आयोग से अवैध बांग्लादेशी घुसपैठियों की जांच कर उनका वोटर पहचान पत्र रद्द करने की मांग की है.
भाजपा नेता प्रदीप सिन्हा ने कहा कि भाजपा के अभियान पर संज्ञान लेते हुए हैदराबाद में करीब पांच लाख गलत और अवैध वोटरों का नाम वोटर लिस्ट से डिलीट किया गया. उसी तरह से संथाल परगना के जिले दुमका, साहिबगंज, पाकुड़ और जामताड़ा में गलत तरीके से आये बांग्लादेशी घुसपैठियों का राशन कार्ड और वोटर कार्ड रद्द किया जाए. भाजपा लगातार यह मांग करती रही हैं लेकिन कांग्रेस, राजद और झामुमो की महागठबंधन की सरकार में प्रशासन खामोश बैठा हुआ है. हम राजनीतिक दल होने के नाते संस्थाओं के पास अपनी मांग ही रखेंगे.
पाकिस्तान, कब्रिस्तान के अलावा भाजपा के पास कोई मुद्दा नहीं- कांग्रेस
लोकसभा चुनाव से ठीक पहले बांग्लादेशी घुसपैठियों के गलत तरीके से वोटर बन जाने का मुद्दा भाजपा द्वारा उठाये जाने पर कांग्रेस ने भी प्रतिक्रिया दी है. पार्टी के प्रदेश मीडिया प्रभारी सतीश पॉल मुंजनी ने कहा कि लोकसभा चुनाव में संभावित हार भाजपा नेताओं को दिखने लगा है. इसलिए अब ये महंगाई, बेरोजगारी, सरना धर्म कोड और अन्य मुद्दों की जगह पाकिस्तान, कब्रिस्तान, मंगल सूत्र, मटन मछली पर उतर आए हैं. लेकिन इसका अब कोई फायदा भाजपा को नहीं होनेवाला है.