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पेशी पर रील बनवा रहा है यूपी-बिहार का कुख्यात फिरदौश, होता है फोटोशूट, फिर भी कोई एक्शन नहीं - LUCKNOW NEWS

तीन माह पहले भी वायरल की थी रील, रोक लगाने में पुलिस नाकाम.

कुख्यात ने पेशी पर फिर बनवाई रील.
कुख्यात ने पेशी पर फिर बनवाई रील. (Photo Credit; ETV Bharat)

By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : 4 hours ago

लखनऊ:राजधानी की जेल में बंद होने के बाद भी यूपी और बिहार का कुख्यात अपराधी फिरदौस उर्फ शादाब अख्तर का भोकाल कायम है. कैसरबाग स्थित कोर्ट में पेशी पर वह मौज करता है. उसके गुर्गे उसके साथ रील बनाते हैं. पुलिस अभिरक्षा में फिरदौस के साथ फोटोशूट किया जाता है. इतना ही नहीं, उसके गुर्गे इन वीडियो और फोटो को इंस्टाग्राम पर पोस्ट भी करते हैं. यह सब काफी समय से चल रहा है, हैरानी बात है कि तीन माह पहले ऐसी ही रील वायरल होने पर पुलिस ने कार्रवाई करने की बात कही थी, बावजूद इसके इसमें रोक नहीं लग सकी है. इस बार जो रील वायरल हो रही है, उसमें वह मास्क लगाए है. अब फिर से जांच की बात कही जा रही है.

दरअसल, राजधानी के कैंट इलाके में 25 जून 2022 को बिहार के मोस्टवांटेड अपराधी वीरेंद्र उर्फ गोरख ठाकुर की हत्या कर दी गई थी. हत्या करने वाले बिहार पुलिस की वर्दी में आए थे. हत्याकांड का मास्टरमाइंड में बिहार का कुख्यात अपराधी फिरदौस था. पुलिस उसे गिरफ्तार करने में नाकाम रही थी. जिसके बाद 15 दिसंबर 2022 को उसने एक वीडियो वायरल कर कोर्ट में सरेंडर कर दिया था. तब से वह लखनऊ जेल में बंद है.

सितम्बर में फिरदौस फैन क्लब व टीम फिरदौस नाम से इंस्टाग्राम पर पेज पर फ़िरदौस के साथ बनाई गई रील को उसके गुर्गो ने पोस्ट किया था. इसके बाद लखनऊ पुलिस ने दावा किया था कि जिसकी भी लापरवाही सामने आएगी उसके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी. हालांकि, इस मामले में कोई कार्यवाई तो नहीं हुई लेकिन एक बार फिर इंस्टाग्राम पर कुख्यात फ़िरदौस के साथ उसके गुर्गो ने फोटोशूट किया और पुलिस अभिरक्षा में उसकी रील बनाकर पोस्ट की है. इस पर एडीसीपी वेस्ट विश्वजीत श्रीवास्तव ने कहा है कि इस पूरे मामले की जांच की जा रही है.

दरअसल, किसी भी अभियुक्त को जब न्यायालय लाया जाता है तो पुलिसकर्मी भी उसके साथ मौजूद रहते हैं. पोस्ट की गई रील में उसके आने से लेकर कोर्ट परिसर में जाने और बाहर निकलने तक के वीडियो शूट किए गए. अभिरक्षा में तैनात पुलिसकर्मी न तो रोक-टोक करते हैं और न ही अपराधी की इस हरकत की उच्चाधिकारियों से शिकायत करते हैं. जिससे साफ है कि कई पुलिसकर्मी उसके बेहद करीबी हैं. वहीं फिरदौस को लखनऊ जेल की हाई सिक्योरिटी बैरक में रखा गया है.

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