छत्तीसगढ़

chhattisgarh

ETV Bharat / state

छत्तीसगढ़ में किचन शेड में स्कूल, मिड डे मील भी बंद, 2 साल  से यही हाल - Chhattisgarh shocker - CHHATTISGARH SHOCKER

बच्चे हमारे देश का भविष्य हैं. बच्चों की बेहतर पढ़ाई के लिए अच्छे सरकारी स्कूलों का दावा भी किया जाता है, लेकिन छत्तीसगढ़ का एक स्कूल इन तमाम दावों की पोल खोल रहा है. बेमेतरा जिले के बोरदेही गांव में एक ऐसा स्कूल भी है, जो किचन में चल रहा है. इस स्कूल की दूसरी बदइंतजामियां सुनेंगे तो आप और भी हैरान रह जाएंगे.

CHHATTISGARH SHOCKER
छत्तीसगढ़ में किचन में स्कूल (ETV Bharat GFX)

By ETV Bharat Chhattisgarh Team

Published : Jul 26, 2024, 1:31 PM IST

Updated : Jul 26, 2024, 2:33 PM IST

बेमेतरा:छत्तीसगढ़ के बेमेतरा जिला के नवागढ़ ब्लॉक के बोरदेही गांव के स्कूल की तस्वीरें सरकारी सिस्टम पर तमाचा है. यहां प्राथमिक शाला का स्कूल भवन नहीं होने के कारण किचन शेड में पिछले 2 साल से स्कूल चल रहा है.

छत्तीसगढ़ में किचन में स्कूल: फिलहाल यहां कक्षा पहली से पांचवीं तक सिर्फ 19 बच्चे पढ़ते हैं. अव्यवस्था का ऐसा आलम है कि 8/10 के किचन शेड में 19 बच्चे 2 शिक्षक और आफिस का संचालन हो रहा है.

छत्तीसगढ़ में किचन में स्कूल (ETV Bharat)

स्कूल के 50 फीसदी बच्चों ने कटाई टीसी: छत्तीसगढ़ के खाद्य मंत्री दयालदास बघेल के गृह विधानसभा क्षेत्र नवागढ़ में यह स्कूल है. बोरदेही के प्राथमिक स्कूल में पहले 40 बच्चे पढ़ाई करते थे. अब स्कूल भवन नहीं बनने की वजह से 21 बच्चों ने टीसी कटाकर निजी स्कूल में एडमिशन ले लिया है.

बारिश में अंदर सूखे में पीपल के पेड़ के नीचे लगती है पाठशाला: बोरदेही स्कूल के प्रधान पाठक एस आर बंजारे ने बताया कि 2 साल पहले जर्जर स्कूल को डिस्मेंटल करने का आदेश आया था. लिहाजा जर्जर स्कूल को डिस्मेंटल कराया गया. लेकिन 2 साल बाद भी अब तक स्कूल भवन नहीं बन पाया है.

''बारिश के दिनों में किचन शेड में पढ़ाया जाता है. सूखे के दिनों में खुले आसमान के नीचे पीपल पेड़ की छांव में बच्चे पढ़ाई करते हैं. हम बच्चों को पढ़ाने में कोई कोताही नहीं बरतते जितना हो सकता है, पढ़ाया जाता है.'' -एस आर बंजारे , प्रधान पाठक प्राथमिक शाला बोरदेही

बेमेतरा कलेक्टर ने दिया आश्वासन: बेमेतरा कलेक्टर रणबीर शर्मा ने कहा कि ''जिला शिक्षा अधिकारी को मौके पर भेजता हूं . यदि वहां भवन नहीं है तो भवन स्वीकृत किया जाएगा. बच्चों की पढ़ाई लिखाई का काम सुचारू रूप से चले, इसके लिए सभी सुविधाएं सुनिश्चित करेंगे.''

बोरदेही स्कूल में मिड डे मील बंद: स्कूल के सहायक शिक्षक कृष्ण कुमार बघेल ने बताया कि ''बच्चों की दर्ज संख्या कम होने के कारण मीड डे मील भोजन बनाने वाले समूह ने भोजन का काम बंद कर दिया है. मध्यान्ह भोजन बनाने वाली समूह का कहना है कि दर्ज संख्या कम होने के कारण मिड डे मील का संचालन कर पाना संभव नही हैं.'' शिक्षकों ने बताया कि दोपहर में बच्चों को खाना खाने की छुट्टी दी जाती है और वह अपने घर में खाना खाकर आते हैं.

Last Updated : Jul 26, 2024, 2:33 PM IST

ABOUT THE AUTHOR

...view details