रायपुर: छत्तीसगढ़ की अर्थव्यवस्था कृषि पर आधारित है. यहां धान की सबसे ज्यादा खेती होती है. इसके साथ साथ ही दलहन और अन्य फसलों की भी खेती किसान यहां करते हैं. सीएम विष्णुदेव साय के नेतृत्व में किसानों के लिए प्रदेश में नई पहल की गई है. प्रदेश में 20 जिलों के किसान खेती और पशुपालन को बढ़ावा देने के लिए फोल्डस्कोप का प्रयोग कर रहे हैं. इस तकनीक के जरिए किसानों को खेती के उन्नत गुर सिखाए जा रहे हैं.
क्या है फोल्डस्कोप?: किसानों को फोल्डस्कोप के जरिए खेती और कीट प्रबंधन में मदद पहुंचाई जा रही है. इससे किसानों को मदद मिल रही है. इतना ही नहीं किसानों को फोल्डस्कोप के जरिए उन्नत नस्ल के मवेशियों के पालन की जानकारी मिल रही है. फोल्डस्कोप एक तरह का माइक्रोस्कोप होता है. जिसके जरिए उन्हें मदद मिलती है. राष्ट्रीय जैविक तनाव प्रबंधन संस्थान के सहयोग से छत्तीसगढ़ के 20 जिलों के किसानों को फोल्डस्कोप पोर्टेबल माइक्रोस्कोप बांटे गए हैं. इस माइक्रोस्कोप का उद्देश्य किसानों को खेती और पशुपालन में साइंटिफिक टेक्नोलॉजी का आधार मुहैया कराना है.
किन जिलों में किसानों को मिली फोल्डस्कोप तकनीक?: छत्तीसगढ़ के कुल 20 जिलों में किसानों को फोल्डस्कोप तकनीक से फायदा हो रहा है. इन जिलों में जांजगीर चांपा, सक्ती, रायगढ़, बलौदाबाजार भाटापारा, रायपुर, धमतरी, दुर्ग, राजनांदगांव, मोहला मानपुर, अंबागढ़ चौकी, कोरिया, सरगुजा, जशपुर, कोरबा, बिलासपुर और मुंगेली जैसे जिले शामिल हैं. इसके अलावा कबीरधाम, बेमेतरा, कांकेर और बस्तर जिलों में भी इस तकनीक का सहारा किसान ले रहे हैं. इस कार्य को आईसीएआर और राष्ट्रीय जैविक तनाव प्रबंधन संस्थान की तरफ से किया जा रहा है.