कराची: पाकिस्तान (Pakistan) में घोर आर्थिक संकट के बीच लोग ईद का त्योहार मनाएंगे. पर सवाल यह है कि देश में चरम महंगाई के बीच वहां की जनता यह तय नहीं कर पा रही है कि वह क्या खरीदे क्या छोड़े. क्योंकि पवित्र ईद का त्योहार मुस्लिम धर्मावालंबियों के लिए काफी महत्व रखता है. यह त्योहार खुशियों और आपसी भाईचारा को बढ़ाता है. हालांकि पूरे पाकिस्तान में ईद के त्योहार से पहले ही महंगाई के काले बादल छाए हुए हैं. पड़ोसी देश में बढ़ती कीमतें लोगों को पारंपरिक खरीदारी और दावत में शामिल होने से लोगों को रोक रही है.एएनआई रिपोर्ट के मुताबिक पाकिस्तान में आवश्यक वस्तुओं और सेवाओं की उच्च लागत ने घरेलू बजट को बिगाड़ कर रख दिया. आलम यह है कि वहां रहने वाले कई परिवार ईद के मौके पर नए कपड़े, उपहार खरीदने में असमर्थ नजर आ रहे हैं.
चप्पल की कीमत जानकर होश उड़ जाएंगे
तंगी और बदहाली की मार झेल रहे पाकिस्तान के लोगों का कहना है कि, इस बार खरीदारी उनके बजट से बाहर है. कराची निवासी अब्बू सुफियान ने बताया कि ईद को लेकर जब वे बाजार खरीदारी के लिए पहुंचे तो सामान की कीमतों के बारे में जानकर उनके होश उड़ गए. पाकिस्तान में चप्पलों की कीमत 1,500 रुपये से लेकर 2000 (पाकिस्तानी रुपये) के बीच है. इस बार पाकिस्तान में चप्पलों की कीमतों में 700 से लेकर 800 रुपये तक की भारी वृद्धि हुई है. अब्बू सुफियान का कहना था कि, वे 60 हजार रुपये महीना कमाते हैं लेकिन महंगाई की वजह से वे भी जरूरी चीजों को खरीदने में असमर्थ नजर आ रहे हैं. सोचने वाली बात यह है कि अगर कोई व्यक्ति अच्छी खासी कमाई करके भी ईद के मौके पर उपहार और अन्य वस्तु खरीद नहीं सकता तो कम आय वाले और अन्य गरीब लोग कैसे ईद का त्योहार मनाएंगे, यह सबसे बड़ा सवाल है. बता दें कि, का पवित्र महीना कुछ ही दिनों में समाप्त होने वाला है और पड़ोसी देश पाकिस्तान में महंगाई चरम पर है. ऐसे में मुद्रास्फीति (Inflation) की मार झेल रहे पाकिस्तान के लिए ईद मनाना काफी मुश्किल साबित होने वाला है.