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लोन घोटाला मामले में SC ने DHFL वधावन को दी गई जमानत रद्द कर दी - डीएचएफएल वधावन लोन घोटाला मामला

DHFL Wadhawans Loan scam case- उच्चतम न्यायालय ने लोन घोटाला मामले में पूर्व प्रवर्तकों कपिल वधावन और उनके भाई धीरज वधावन को मिली जमानत को रद्द कर दी है. न्यायमूर्ति बेला एम त्रिवेदी और न्यायमूर्ति एस सी शर्मा की पीठ ने कहा कि उच्च न्यायालय और निचली अदालत ने उन्हें जमानत देते हुए त्रुटि की है. पढ़ें पूरी खबर...

DHFL Wadhawans Loan scam case (File Photo)
डीएचएफएल वधावन लोन घोटाला मामला (फाइल फोटो)

By PTI

Published : Jan 24, 2024, 11:59 AM IST

नई दिल्ली:उच्चतम न्यायालय ने कपिल वधावन और उनके भाई धीरज वधावन को मिली जमानत बुधवार को रद्द कर दी है. उच्चतम न्यायालय ने करोड़ों रुपये के बैंक लोन घोटाला मामले में दीवान हाउसिंग फाइनेंस कॉरपोरेशन लिमिटेड (डीएचएफएल) के पूर्व प्रवर्तकों के बेल को रद्द कर दिया है. न्यायमूर्ति बेला एम त्रिवेदी और न्यायमूर्ति एस सी शर्मा की पीठ ने कहा कि उच्च न्यायालय और निचली अदालत ने उन्हें जमानत देते हुए त्रुटि की है.

पीठ ने कहा कि हमें यह कहने में कोई हिचक नहीं है कि आरोपपत्र दाखिल किए जाने और उचित समय पर संज्ञान लिए जाने के बाद प्रतिवादी एक अधिकार के रूप में वैधानिक जमानत दिए जाने का दावा नहीं कर सकते थे. दंड प्रक्रिया संहिता (सीआरपीसी) के तहत अगर जांच एजेंसी 60 या 90 दिनों की अवधि के भीतर किसी आपराधिक मामले में जांच के निष्कर्ष पर आरोप पत्र दाखिल करने में विफल रहती है तो आरोपी वैधानिक जमानत पाने का हकदार हो जाता है.

इस मामले में केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) ने प्राथमिकी दर्ज करने के 88वें दिन आरोप पत्र दाखिल किया जिसके बाद निचली अदालत ने आरोपी को जमानत दे दी और दिल्ली उच्च न्यायालय ने आदेश को बरकरार रखा. वधावन बंधुओं को पिछले साल 19 जुलाई को इस मामले में गिरफ्तार किया गया था. मामले में 15 अक्टूबर 2022 को आरोप पत्र दाखिल किया गया और इस पर संज्ञान लिया गया. मामले में प्राथमिकी यूनियन बैंक ऑफ इंडिया द्वारा की गई एक शिकायत पर आधारित थी

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