नई दिल्ली:वित्त वर्ष 2023-24 (एवाई 2024-25) के लिए इनकम टैक्स रिटर्न (आईटीआर) दाखिल करने की अंतिम तिथि 31 जुलाई, 2024 है. यह समय सीमा सैलरी वाले लोग और सेल्फ-एंप्लॉय वाले लोग जैसे टैक्सपेयर पर लागू होती है. इनके खातों का ऑडिट करने की आवश्यकता नहीं होती है. जिन लोगों ने अभी तक आईटीआर दाखिल नहीं किया है. उनके पास अभी भी समय है.
इनकम टैक्स रिटर्न दाखिल करते ही मिलेंगे तमाम बेनिफिट, नहीं तो लगेगा पांच हजार का झटका - Deadline for filing ITR - DEADLINE FOR FILING ITR
Deadline for filing ITR - इनकम टैक्स रिटर्न दाखिल करने की समयसीमा 31 जुलाई तक है. इसके बाद टैक्स फाइल करेंगे तो पांच हजार रुपये तक के जुर्माने के साथ-साथ तमाम मिलने वाले लाभ से भी हाथ धो बैठेंगे. जानने के लिए पढ़ें पूरी खबर...
(प्रतीकात्मक फोटो) (Getty Image)
Published : Jul 18, 2024, 1:28 PM IST
वहीं अगर आप समय सीमा के बाद करेंगे तो उसे विलंबित आईटीआर कहा जाएगा. वित्त वर्ष 2023-24 (एवाई 2024-25) के लिए विलंबित आईटीआर दाखिल करने की अंतिम तिथि 31 दिसंबर, 2024 है. टैक्सपेयर को विलंबित आईटीआर दाखिल करने के लिए पांच महीने (अगस्त से दिसंबर) मिलते हैं. अधिकांश टैक्सपेयर जानते हैं कि विलंबित आईटीआर दाखिल करने पर जुर्माना लगाया जाता है. हालांकि, देरी से दाखिल करने के अन्य परिणाम भी होते हैं.
- आईटीआर देर से दाखिल करने पर जुर्माना
आयकर अधिनियम, 1961 की धारा 234F के तहत, विलंबित ITR दाखिल करने पर 5,000 रुपये तक का जुर्माना लगाया जाता है. छोटे टैक्सपेयर के लिए, अगर टैक्स योग्य आय 5 लाख रुपये से अधिक नहीं है, तो जुर्माना राशि 1,000 रुपये तक सीमित है. जुर्माना उन मामलों में भी लागू होता है, जहां विलंबित ITR में जीरो टैक्स देय होता है. - टैक्स पर पेनल इंटरेस्ट
जुर्माने के अलावा, किसी व्यक्ति को विलंबित ITR दाखिल करते समय पेयबल लंबित टैक्स पर दंडात्मक ब्याज भी देना पड़ता है. अगर विलंबित ITR दाखिल करते समय कर देय है, तो आयकर अधिनियम की धारा 234A के तहत 1 फीसदी प्रति माह की दर से दंडात्मक ब्याज लगाया जाता है. अगर कोई एडंवास टैक्स बकाया है, तो धारा 234B और 234C के तहत 1 फीसदी का दंडात्मक ब्याज भी लगाया जाता है.